देश की दूसरी सबसे बड़ी सॉफ्टवेयर कंपनी Infosys के एंप्लॉयीज को सितंबर तिमाही के लिए वेरिएबल पे का 65 प्रतिशत भुगतान किया जाएगा। यह इससे पिछली तिमाही की तुलना में कम है। वेरिएबल पे कंपनी और एंप्लॉयी के प्रदर्शन से जुड़ी होती है। आमतौर पर इसे एंप्लॉयी के सैलरी पैकेज में शामिल किया जाता है।
इंफोसिस ने एंप्लॉयीज को भेजी ईमेल में
बताया है कि जुलाई-सितंबर की अवधि के लिए एवरेज वेरिएबल पे 65 प्रतिशत है। हालांकि, प्रत्येक एंप्लॉयी के लिए यह भुगतान उसके प्रदर्शन पर निर्भर करेगा। कंपनी ने मौजूदा फाइनेंशियल ईयर की पहली तिमाही के लिए वेरिएबल पे को घटाकर 70 प्रतिशत किया था। जून तिमाही में मार्जिन में गिरावट आने की वजह से वेरिएबल पे में कटौती की गई थी। हालांकि, टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) ने पहली तिमाही के लिए वेरिएबल पे में कमी नहीं की थी। स्लोडाउन और कुछ अन्य कारणों से IT कंपनियों के रेवेन्यू और मार्जिन पर असर पड़ रहा है। इस वजह से इस सेक्टर की कुछ कंपनियों के एंप्लॉयीज की वेरिएबल पे में कमी की जा रही है।
इंफोसिस ने अपने स्टाफ को चरणबद्ध तरीके से ऑफिस में दोबारा बुलाने की योजना तैयार की है। कंपनी ने हाल ही में स्टाफ को इसकी जानकारी दी थी। इंफोसिस के एग्जिक्यूटिव वाइस प्रेसिडेंट और ह्युमन रिसोर्सेज डिविजन के ग्रुप हेड, Krishnamurthy Shankar ने कहा था कि कंपनी की ओर से स्टाफ को फ्लेक्सिबिलिटी की अनुमति दी जाएगी। पहले चरण में स्टाफ को अपनी सुविधा के अनुसार एक सप्ताह में दो दिन ऑफिस आना होगा। दूसरे चरण में स्टाफ को ट्रांसफर या उनकी पसंद की ब्रांच में रिलोकेशन की अनुमति दी जाएगी। इंफोसिस के 54 देशों में 247 ऑफिस हैं। तीसरे चरण में
कंपनी पिछले दो चरणों का फीडबैक लेकर अपनी हाइब्रिड वर्क पॉलिसी तैयार करेगी।
कंपनी के CEO, Salil Parekh ने कहा था कि इंफोसिस सभी वर्कर्स को ऑफिस वापस लाने की योजना बना रही है। उनका कहना था, "हम स्टाफ को जरूरी सपोर्ट उपलब्ध कराएंगे जिससे बड़ी संख्या में वर्कर्स ऑफिस लौट सकें। इसके साथ ही फ्लेक्सिबिलिटी भी दी जाएगी।" TCS ने भी अपने स्टाफ को सप्ताह में कम से कम तीन दिन ऑफिस से काम करने के लिए कहा है। इसका उल्लंघन करने वाले एंप्लॉयीज के खिलाफ कंपनी ने कार्रवाई करने की चेतावनी भी दी है।