शुरुआत में बोली धीरे-धीरे आगे बढ़ी और रविवार, 16 जुलाई तक 42,000 डॉलर तक पहुंची थी, इसके बाद बोली तेजी से आगे बढ़ी और कई बोलियों के बाद, जीतने वाली बोली 190,372 डॉलर (करीब 1.56 करोड़ रुपये) की थी।
रिलायंस जियो का कहना है कि विदेशी सैटेलाइट सर्विस प्रोवाइडर्स वॉयस और डेटा सर्विसेज उपलब्ध करा सकते हैं और इससे देश की टेलीकॉम कंपनियों को मुश्किल होगी
इस चेक के खास होने का दूसरा बड़ा कारण इस पर छपा पता है। इस पर पता लिखा है- 770 Welch Rd., Ste. 154, Palo Alto, जो कि Apple का सबसे पहला ऑफिशिअल एड्रेस है।
WIPL से पहले बेस प्राइस को पांच कैटेगरी में बांटा गया था। यह प्राइस 10 लाख रुपये से 50 लाख रुपये के बीच था। इस टूर्नामेंट के लिए ऑक्शन की रजिस्ट्रेशन की तारीख 26 जनवरी तक है
4G की तुलना में 5G सर्विसेज लगभग 10 गुना तेज होने की संभावना है। टेलीकॉम डिपार्टमेंट को हाल ही में हुई स्पेक्ट्रम की नीलामी में लगभग 1.50 लाख करोड़ रुपये की कुल बिड्स मिली थी
इन्हें 17वीं और 18वीं सदी के ब्रिटेन में पाए जाने वाले अंग्रेजी सोने के सिक्कों के सबसे बड़े संग्रहों में से एक बताया जाता है, जिसमें 260 से अधिक सोने के सिक्के शामिल हैं।
हाल ही में हुई स्पेक्ट्रम की नीलामी में रिलायंस जियो ने लगभग 11 अरब डॉलर का स्पेक्ट्रम हासिल किया था। यह इस नीलामी में सबसे अधिक खर्च करने वाली कंपनी थी
यूपी ईस्ट सर्कल में 10 करोड़ से ज्यादा मोबाइल सब्सक्राइबर्स हैं। मई महीने तक यहां रिलायंस जियो के 3.29 करोड़ मोबाइल सब्सक्राइबर्स थे। वहीं, भारती एयरटेल के पास 3.7 करोड़ और वोडाफोन आइडिया के 2.02 करोड़ सब्सक्राइबर्स थे।