केंद्र सरकार की ओर से मिले रिवाइवल पैकेज पर चल रही सरकारी टेलीकॉम कंपनी भारत संचार निगम लिमिटेड (BSNL) के लिए मुश्किलें बढ़ गई हैं। पिछले वर्ष अप्रैल से दिसंबर के दौरान कंपनी का 13 सर्कल में रेवेन्यू घटा है। इस स्थिति से निपटने के लिए इन सर्कल के चीफ जनरल मैनेजर (CGM) को तुरंत कदम उठाने के लिए कहा गया है।
एक मीडिया
रिपोर्ट में BSNL के CMD, P K Purwar की ओर से संबंधित सर्कल्स के CGM को लिखे पत्र के हवाले से बताया गया है, "टेलीकॉम डिपार्टमेंट और BSNL के बीच रिवाइवल पैकेज से जुड़े मंत्रिमंडल के फैसले को लागू करे के लिए हुए MoU में कंपनी को खराब प्रदर्शन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई कर जवाबदेही को सुनिश्चित करना है। यह देखा जा सकता है कि पिछले एक वर्ष में पांच सर्कल नेगेटिव रेवेन्यू के निकट पहुंच गए हैं, पांच सर्कल में यह नेगेटिव हो गया है और तीन सर्कल गंभीर तौर पर नेगेटिव हो गए हैं।"
BSNL के लिए रेवेन्यू में बड़ी गिरावट वाले सर्कल्स पश्चिम बंगाल, चेन्नई, उत्तर प्रदेश पूर्व, सिक्किम, अंडमान और निकोबार, ओडिशा, बिहार और कर्नाटक हैं। इसके अलावा केरल, जम्मू और कश्मीर, आंध्र प्रदेश, झारखंड और पूर्वोत्तर में कंपनी का रेवेन्यू कमजोर हुआ है।
पत्र में रेवेन्यू में कमी वाले सर्कल्स के CGM को प्रदर्शन में सुधार करने के लिए तुरंत कदम उठाने और इनके बारे में कॉरपोरेट ऑफिस को जानकारी देने के लिए कहा गया है। मौजूदा फाइनेंशियल ईयर के शुरुआती नौ महीनों में कंपनी का कुल रेवेन्यू वर्ष-दर-वर्ष आधार पर लगभग 14 प्रतिशत बढ़कर 12,748 करोड़ रुपये रहा। हालांकि, कंपनी को नेट लॉस में बढ़ोतरी से झटका लगा है। इस अवधि में नेट लॉस 5,424 करोड़ रुपये से बढ़कर 5,457 करोड़ रुपये हो गया। इसका बड़ा कारण एंप्लॉयी कॉस्ट जैसे खर्चों का बढ़ना है।
इस महीने की शुरुआत में संचार राज्यमंत्री Devusinh Chauhan ने राज्यसभा में एक लिखित उत्तर में कहा था, "BSNL के फाइनेंशियल ईयर 2026-27 में नेट प्रॉफिट हासिल करने की संभावना है।" केंद्रीय मंत्रिमंडल ने लगभग चार वर्ष पहले BSNL और MTNL के लिए एक रिवाइवल पैकेज को स्वीकृति दी थी। इस पैकेज में BSNL की सर्विसेज को अपग्रेड करने के लिए नई कैपिटल लगाना, स्पेक्ट्रम एलोकेट करना, बैलेंस शीट में घाटे को कम करना और इसके साथ भारत ब्रॉडबैंड निगम लिमिटेड को मर्ज कर कंपनी के फाइबर नेटवर्क को अपग्रेड करना जैसे उपाय शामिल हैं।