2016 की तीसरी तिमाही के संबंध में आईडीसी डेटा को सही माना जाए तो आज की तारीख में भारतीय स्मार्टफोन मार्केट में हिस्सेदारी के मामले में लेनोवो दूसरे स्थान पर है। गौर करने वाली बात है कि कंपनी लंबे समय से भारत में 4जी स्मार्टफोन बेचती रही है।
2015 में कंपनी ने दावा किया था कि देश में 4जी स्मार्टफोन मार्केट में उसकी हिस्सेदारी 30 फीसदी है। हालांकि, इसके बाद से लेनोवो को अन्य कंपनियों से जबरदस्त चुनौती मिली है। लेनोवो को सबसे ज़्यादा चुनौती शाओमी जैसे अन्य चीनी कंपनियों से मिल रही है। गौर करने वाली बात है कि शाओमी हाल ही में टॉप 5 का हिस्सा बनने में कामयाब रही है।
लेनोवो के6 पावर के ज़रिए कंपनी ने 10,000 रुपये के प्राइस रेंज में अपनी दावेदारी और मजबूत करने की कोशिश की है। कंपनी इस सेगमेंट में पहले ही
लेनोवो वाइब के5 (
रिव्यू),
लेनोवो वाइब के5 प्लस (
रिव्यू) और
लेनोवो वाइब के4 नोट (
रिव्यू) जैसे फोन पेश कर चुकी है। नया लेनोवो के6 पावर फुल मेटल बॉडी और फिंगरप्रिंट सेंसर के साथ आता है। 4000 एमएएच की बैटरी इसकी एक और अहम खासियत है जो रिवर्स चार्जिंग को सपोर्ट करती है। इसका मतलब है कि आप लेनोवो के इस फोन की बैटरी से अन्य डिवाइस को कनेक्ट करके चार्ज कर पाएंगे।
इस प्राइस रेंज में कई और स्मार्टफोन हैं जो ऐसे ही स्पेसिफिकेशन के साथ आते हैं। इनमें
शाओमी रेडमी 3एस प्राइम (
रिव्यू),
कूलपैड नोट 5 और
असूस ज़ेनफोन मैक्स (2106) (
रिव्यू) शामिल हैं। पहली झलक में हमें लगा था कि लेनोवो के6 पावर इस प्राइस सेगमेंट में मजबूत प्रतिद्वंद्वी साबित होगा। क्या यह हमारी उम्मीदों पर पूरी तरह से खरा उतरा? आइए रिव्यू के ज़रिए जानें।
लेनोवो के6 पावर डिज़ाइन और बनावटपहली नज़र में लेनोवो के6 पावर बहुत हद तक शाओमी रेडमी 3एस प्राइम जैसा लगता है। दोनों के बीच समानता फोन को आगे की तरफ से देखने पर ज्यादा झलकती है। रियर हिस्से पर कैमरे की जगह और एंटेना बैंड में थोड़े अंतर हैं। कैमरा मध्य में मौजूद है। इसके साथ एलईडी फ्लैश और फिंगरप्रिंट स्कैनर दिया गया है। ऐसा ही सेटअप
शाओमी रेडमी नोट 3 में देखने को मिला था।
लेनोवो की ब्रांडिंग फोन के पिछले हिस्से पर नीचे की तरफ मौज़ूद है। इसके साथ स्पीकर ग्रिल भी हैं। यह फोन डार्क ग्रे, गोल्ड और सिल्वर कलर में उपलब्ध है। के6 पावर का डिस्प्ले 5 इंच का है। डिस्प्ले के नीचे नेविगेशन के लिए कैपिसिटिव बटन दिए गए हैं। अफसोस कि ये बटन बैकलिट नहीं हैं। हमें इन्हें अंधेरे में इस्तेमाल करने में दिक्कत हुई।
9.3 मिलीमीटर की मोटाई वाला लेनोवो के6 पावर हैंडसेट रेडमी 3एस प्राइम की तुलना में ज़्यादा मोटा है। वज़न में सिर्फ 1 ग्राम का फ़र्क है। पावर और वॉल्यूम बटन दायीं तरफ हैं। बायें किनारे पर सिम स्लॉट है। 3.5 एमएम का हेडफोन सॉकेट और माइक्रो-यूएसबी चार्जिंग पोर्ट टॉप पर है। और नोटिफिकेशन एलईडी ईयरपीस ग्रिल में छिपे हुए हैं।
फिंगरप्रिंट स्कैनर सेंसेटिव है और तेजी से फोन को अनलॉक करता है। लेनोवो ने ऐप लॉक फंक्शन भी दिया है। इसकी मदद से फिंगरप्रिंट सेंसर को सेटअप करना संभव है।
फुल-मेटल बॉडी के कारण के6 पावर को प्रीमियम एहसास मिलता है। हालांकि, इस वजह से फोन हाथों में फिसलता भी है। ऐसे में आपको हमेशा एहतियात बरतना होगा। दूसरी तरफ, इसे एक हाथ से इस्तेमाल करना आसान है। इसका श्रेय 5 इंच के स्क्रीन को जाता है। हमें लेनोवो द्वारा यूज़र इंटरफेस में दिए गए कुछ काम के ट्रिक भी पसंद आए, जैसे कि वॉल्यूम बटन को दो बार दबाकर कैमरा ऐप लॉन्च करना। यह फोन के लॉक होने पर भी काम करता है।
लेनोवो का 5 इंच का स्क्रीन फुल-एचडी रिज़ॉल्यूशन वाला है। इसकी पिक्सल डेनसिटी 441 पीपीआई है। इस वजह से टेक्स्ट काफी शार्प नज़र आते हैं। ब्राइटनेस अच्छी है और कलर्स भी काफी पंची हैं। व्यूइंग एंगल और सन लेजिब्लिटी भी ठीक-ठाक है। डिस्प्ले, के6 पावर की सबसे अहम खासियत है। लेनोवो के6 पावर के रिटेल बॉक्स के साथ आपको एक आम चार्जर, सिम इजेक्टर टूल और दिशा-निर्देश पुस्तिका मिलेगी।
लेनोवो के6 पावर स्पेसिफिकेशन और फ़ीचरलेनोवो के6 पावर में शाओमी रेडमी 3एस प्राइम की तरह क्वालकॉम स्नैपड्रैगन 430 प्रोसेसर का इस्तेमाल किया गया है। इस प्रोसेसर से आपको 1.4 गीगाहर्ट्ज़ की क्लॉक स्पीड मिलेगी और साथ में मौज़ूद है 3 जीबी रैम। इनबिल्ट स्टोरेज 32 जीबी है और ज़रूरत पड़ने पर आप 128 जीबी तक का माइक्रोएसडी कार्ड इस्तेमाल कर सकेंगे। अफसोस की बात है कि इसमें हाइब्रिड सिम स्लॉट दिया गया है। ऐसे में यूज़र के पास एक साथ दो सिम कार्ड या एक सिम के साथ माइक्रोएसडी कार्ड इस्तेमाल करने का विकल्प होगा। कनेक्टिविटी फ़ीचर में 4जी वीओएलटीई, वाई-फाई 802.11 बी/जी/एन, ब्लूटूथ 4.2, एफएम रेडियो, माइक्रो-यूएसबी और जीपीएस/ए-जीपीएस शामिल हैं।
लेनोवो के6 पावर एंड्रॉयड 6.0 मार्शमैलो पर चलता है। इसके ऊपर कंपनी का वाइब प्योर यूआई मौज़ूद है। कंपनी की कोशिश अपने यूज़र इंटरफेस को ज़्यादा से ज़्यादा साफ रखने की रही है। हमने पाया कि यह बेहद ही स्मूथ था। आपको दो डिफॉल्ट होम स्क्रीन मिलेंगे। बता दें कि के6 पावर में डिफॉल्ट गैलरी ऐप नहीं है। यह कई नई यूज़र को असमंजस में डालेगा। गूगल फोटोज़ पहले से फोन पर इंस्टॉल है। लेकिन यह डिफॉल्ट फोटो ऐप नहीं है। हालांकि, लेनोवो ने हर तरह के फाइल तक पहुंचने के लिए फाइल मैनेजर ऐप दिया है।
ड्रॉपडाउन शेड में कई क्विक सेटिंग्स के साथ नोटिफिकेश का विकल्प मिलेगा। पहले से इंस्टॉल थीम सेंटर में आपको वालपेपर्स, आइकन, लॉक स्क्रीन सेटिंग्स के कस्टमाइज़ेशन विकल्प मिलेंगे।
हमें लेनोवो के6 पावर में दो सॉफ्टवेयर फ़ीचर पसंद आए- ऐप लॉक फंक्शन और डुअल ऐप्स। ऐप लॉक फंक्शन की मदद से यूज़र किसी भी ऐप को फिंगरप्रिंट सेंसर के ज़रिए लॉक कर पाएंगे। डुअल ऐप्स मोड का मतलब है कि यूज़र एक वक्त पर एक ही फोन में दो अलग आईडी से चुनिंदा ऐप चला पाएंगे। हमने दोनों ही फ़ीचर को टेस्ट किया और इन्होंने अपनी भूमिका बखूबी निभाई।
के6 पावर के सेटिंग्स ऐप में फ़ीचर सेक्शन है जो कंपनी के कुछ काम के कस्टमाइज़ेशन के साथ आता है। क्विक स्नैप की मदद से आप वॉल्यूम बटन पर दो बार क्लिक करके कैमरा ऐप लॉन्च कर सकेंगे।
हमने पाया कि कई थर्ड-पार्टी ऐप के6 पावर पर पहले से इंस्टॉल थे। इनमें एवरनोट, फ्लिपकार्ट, मैककैफे सिक्योरिटी, स्काइप, शेयरइट, ट्रूकॉलर, सिंकइट और यूसी ब्राउज़र शामिल हैं।
लेनोवो के6 पावर परफॉर्मेंसलेनोवो के6 पावर ने आसानी से आम टास्क हैंडल किए। हमें ऑक्टा-कोर प्रोसेसर से कोई शिकायत नहीं हुई। 'नीड फॉर स्पीड' जैसे पावरफुल गेम भी आसानी से चले। के6 पावर ने मल्टीटास्किंग में भी ठीक-ठाक काम किया। ऐप्स तेजी से लॉन्च हुए। डिवाइस इस्तेमाल करते वक्त आम तौर पर 1 जीबी मैमोरी बचा रहता है। रिव्यू के दौरान हमें सिस्टम परफॉर्मेंस से कोई शिकायत नहीं हुई। फोन के ज़्यादा गर्म होने की शिकायत भी नहीं थी।
लेनोवो के6 पावर का डिस्प्ले इंटरटेनमेंट के लिए बेहतरीन है। वीडियो देखने और गेम खेलने के लिए यह बेहतरीन हैंडसेट है। पिछले हिस्से पर बने डुअल स्पीकर एक छोटे कमरे के लिए उपयुक्त आवाज़ देते हैं। ऑडियो क्वालिटी भी अच्छी है। फोन डॉलबी एटमस को सपोर्ट करता है जिसकी मदद से आप ऑडियो सेटिंग्स को बदल पाएंगे। हालांकि, फोन के साथ दिए गए ईयरफोन की क्वालिटी बहुत खराब थी।
लेनोवो के6 पावर में शाओमी रेडमी 3एस प्राइम वाला ही स्नैपड्रैगन 430 प्रोसेसर है। लेकिन इसके बेंचमार्क नतीजे तुलना में थोड़े कम आए।
लेनोवो के6 पावर में 13 मेगापिक्सल का रियर कैमरा है। यह सोनी आईएमएक्स258 सेंसर, फेज़ डिटेक्शन ऑटोफोकस और एलईडी फ्लैश से लैस है। 8 मेगापिक्सल के फ्रंट कैमरे में सोनी आईएमएक्स219 सेंसर का इस्तेमाल हुआ है। पीडीएएफ के कारण के6 पावर का रियर कैमरा तेजी से फोकस करता है। कैमरे ने ठीक-ठाक क्लॉज़ अप शॉट लिए। हालांकि, इन्हें ज़ूम इन करने पर किनारों पर नॉयज़ साफ नज़र आए।
(लेनोवो के6 पावर के कैमरा सेैंपल देखने के लिए क्लिक करें)
लेनोवो के6 पावर की सबसे बड़ी खामी यह है कि इसे हमेशा उपयुक्त रोशनी की ज़रूरत पड़ती है। कम रोशनी में ली गई तस्वीरों में नॉयज़ ज़्यादा थे। अफसोस यह है कि स्मार्ट कंपोज़िशन टूल से भी इस कमी को दूर नहीं किया जा सकता। के6 पावर के रियर कैमरे से मूवमेंट वाले ऑब्ज़ेक्ट की तस्वीरें ले पाना आसान नहीं था। इस कमी से हमारा सामना लेनोवो वाइब के5 के साथ भी हुआ था। के6 पावर से आप फुल-एचडी रिज़ॉल्यूशन के वीडियो रिकॉर्ड कर पाएंगे। इनकी क्वालिटी अच्छी थी। फ्रंट कैमरे से उपयुक्त रोशनी वाली परस्थितियों में तस्वीरें लेने में दिक्कत नहीं हुई।
फोन में 4जी के साथ वॉयस ओवर एलटीई का भी सपोर्ट दिया गया है। कॉल क्वालिटी अच्छी थी। कमज़ोर कनेक्टिविटी वाले इलाके में के6 पावर को नेटवर्क से कनेक्ट होने में दिक्कत नहीं हुई।
के6 पावर की 4000 एमएएच की बैटरी हमारे वीडियो लूप टेस्ट में 14 घंटे 30 मिनट तक चली। इसे बुरा नहीं कहा जा सकता। रेडमी 3एस प्राइम की 4100 एमएएच की बैटरी टेस्ट में 14 घंटे 50 मिनट तक चली थी। गौर करने वाली बात है कि के6 पावर फुल-एचडी स्क्रीन के साथ आता है। वहीं, रेडमी 3एस प्राइम में एचडी स्क्रीन है।
बहुत ज़्यादा इस्तेमाल के बाद भी लेनोवो के6 पावर की बैटरी आसानी से एक दिन तक चल गई, इसे अच्छा कहा जाएगा। आपको पावरसेवर मोड भी मिलेगा जिसकी मदद से आप बैटरी लाइफ बढ़ा पाएंगे। के6 पावर को पावर बैंक के तौर पर इस्तेमाल कर पाने की सुविधा बेहतरीन है। हालांकि, हम चाहते हैं कि इस डिवाइस में फास्ट चार्ज़िंग की सुविधा होती तो अच्छा होता। क्योंकि फोन की बैटरी को पूरा चार्ज होने में करीब तीन घंटे लगे।
हमारा फैसला
9,999 रुपये वाला लेनोवो के6 पावर कई भरोसेमंद फ़ीचर के साथ आता है। छोटी-छोटी बारीकियों पर ध्यान देने के लिए हम लेनोवो की तारीफ करेंगे। मेटल बॉडी प्रीमियम होने का एहसास देता है और फिंगरप्रिंट स्कैनर बोनस की तरह है। वाइब यूआई रिव्यू के दौरान बेहद ही स्मूथ था। स्नैपड्रैगन 430 प्रोसेसर दैनिक इस्तेमाल के लिए पूरी तरह से सक्षम है। हालांकि, चुनौती को देखते हुए लेनोवो के6 पावर का कैमरा थोड़ा कमज़ोर है। इससे कई लोगों को निराशा होगी। इसमें कोई दोमत नहीं कि बैटरी लाइफ और डिस्प्ले फोन के सबसे बेहतरीन फ़ीचर हैं।
10,000 रुपये में आपको कई लोकप्रिय स्मार्टफोन मिल जाएंगे। ऐसे में यह देखना बेहद ही रोचक होगा कि लेनोवो के6 पावर कैसी चुनौती दे पाएगा। विकल्प के तौर पर शाओमी रेडमी 3एस प्राइम के बारे में विचार किया जा सकता है, अगर आपके लिए कैमरा अहम है और वाइब यूआई से मीयूआई ज़्यादा पसंद है तो।