भारत के EV मार्केट में एंट्री करने की तैयारी में चीन की Leapmotor

यह भारत सहित इंटरनेशनल मार्केट्स में T03 कही जाने वाली अपनी स्मॉल इलेक्ट्रिक कार और स्पोर्ट्स यूटिलिटी व्हीकल (SUV) को लाएगी

भारत के EV मार्केट में एंट्री करने की तैयारी में चीन की Leapmotor

यह भारत सहित इंटरनेशनल मार्केट्स में दो EV ला सकती है

ख़ास बातें
  • Leapmotor की यूरोपियन ऑटोमोटिव कंपनी Stellantis के साथ पार्टनरशिप है
  • भारत इन कंपनियों के लिए एक महत्वपूर्ण मार्केट बन सकता है
  • Stellantis के पास देश में तीन मैन्युफैक्चरिंग प्लांट हैं
विज्ञापन
देश में पिछले कुछ वर्षों में इलेक्ट्रिक व्हीकल्स (EV) की बिक्री तेजी से बढ़ी है। बहुत सी विदेशी EV कंपनियां इस मार्केट में बिजनेस शुरू करने की योजना बना रही हैं। चीन की Leapmotor ने भी देश के मार्केट में अपने EV लॉन्च करने की तैयारी की है। Leapmotor की यूरोपियन ऑटोमोटिव कंपनी Stellantis के साथ पार्टनरशिप है। 

Leapmotor के CEO, Zhu Jiangming और Stellantis के CEO, Carlos Tavares ने चीन के Hangzhou में एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि उनकी योजना साउथ अमेरिका, वेस्ट एशिया, अफ्रीका और भारत के साथ ही एशिया प्रशांत (APAC) के मार्केट्स में बिजनेस शुरू करने की है। APAC में इन कंपनियों की भारत, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड के मार्केट्स में अपने EV लॉन्च करने की तैयारी है। Leapmotor International में Stellantis की 51 प्रतिशत हिस्सेदारी है। यह भारत सहित इंटरनेशनल मार्केट्स में T03 कही जाने वाली अपनी स्मॉल इलेक्ट्रिक कार और स्पोर्ट्स यूटिलिटी व्हीकल (SUV) को लाएगी। 

अमेरिका में चाइनीज EV पर इम्पोर्ट टैरिफ में बढ़ोतरी की वजह से भारत इन कंपनियों के लिए एक महत्वपूर्ण मार्केट बन सकता है। Stellantis के पास देश में अपने पैसेंजर व्हीकल ब्रांड्स Jeep और Citroen के जरिए तीन मैन्युफैक्चरिंग प्लांट हैं। अमेरिका के इन्फ्लेशन रिडक्शन एक्ट को लेकर चीन ने वर्ल्ड ट्रेड ऑर्गनाइजेशन ( WTO) में शिकायत की थी। चीन का कहना था कि यह एक्ट भेदभाव वाला है और इससे उचित प्रतिस्पर्धा को नुकसान हो रहा है। अमेरिका में EV पर सब्सिडी की पॉलिसी को चुनौती देने के लिए चीन ने WTO की विवाद के निपटारे की प्रक्रिया का इस्तेमाल किया है। 

इस वर्ष की शुरुआत से अमेरिका में EV खरीदने वालों को 3,750 डॉलर से 7,500 डॉलर के टैक्स क्रेडिट नहीं दिए जा रहे अगर EV में इस्तेमाल हुए महत्वपूर्ण मिनरल्स या अन्य बैटरी कंपोनेंट्स चीन, रूस, उत्तर कोरिया या ईरान से हैं या इनकी फर्मों ने बनाए हैं। चीन की कॉमर्स मिनिस्ट्री ने एक स्टेटमेंट में कहा था कि अमेरिका ने क्लाइमेट चेंज से निपटने की आड़ में EV पर सब्सिडी के लिए भेदभाव वाली पॉलिसी बनाई है। अमेरिकी EV मेकर Tesla के CEO, Elon Musk ने भी कहा था कि अगर चाइनीज ऑटोमोबाइल कंपनियों पर ट्रेड से जुड़ी बंदिशें नहीं लगाई गई तो वे ग्लोबल ऑटोमोबाइल कंपनियों के लिए खतरा बन सकती हैं। 
 
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

आकाश आनंद

Gadgets 360 में आकाश आनंद डिप्टी न्यूज एडिटर हैं। उनके पास प्रमुख ...और भी

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. Apple iPhone Fold का हुआ खुलासा, पंच होल के साथ मिलेगा अंडर डिस्प्ले कैमरा
  2. Alcatel V3 Ultra की भारत में कीमत होगी Rs 30,000 से कम, V3 Pro और V3 Classic भी होंगे लॉन्च!
  3. URBAN Genesis स्मार्टवॉच भारत में Super AMOLED स्क्रीन, 7 दिन बैटरी लाइफ के साथ लॉन्च, जानें कीमत
  4. दिल्ली मेट्रो की टिकट DMRC समेत इन 10 ऐप पर उपलब्ध, बुकिंग हुई आसान, जानें तरीका
  5. Oppo Reno 14 5G, 14 Pro 5G लॉन्च हुए 16GB रैम, 6200mAh बैटरी, 80W चार्जिंग के साथ, जानें प्राइस
  6. AI से बनाया इस पॉपुलर फिल्म सुपरस्टार का रूप, महिला से ठगे 11 लाख रुपये, इस फ्रॉड से बचकर रहें!
  7. HUAWEI WATCH 5, WATCH FIT 4 Pro और WATCH FIT 4 लॉन्च, जानें कीमत और फीचर्स
  8. Vi 5G Network Delhi: वोडाफोन-आइडिया यूजर्स हो जाओ खुश! दिल्ली में 5G सर्विस शुरू, Rs 299 में अनलिमिटिड डेटा
  9. Spotify ने हटाए पाकिस्तानी गाने, पोस्टर से एक्टर्स की फोटो भी गायब!
  10. Royal Enfield की पहली इलेक्ट्रिक मोटरसाइकिल Flying Flea C6 अगले वर्ष होगी लॉन्च  
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »