• होम
  • टेलीकॉम
  • ख़बरें
  • कॉल ड्रॉप पर मोबाइल कंपनियों को नहीं देना पड़ेगा जुर्माना, सुप्रीम कोर्ट का फैसला

कॉल ड्रॉप पर मोबाइल कंपनियों को नहीं देना पड़ेगा जुर्माना, सुप्रीम कोर्ट का फैसला

कॉल  ड्रॉप पर मोबाइल कंपनियों को नहीं देना पड़ेगा जुर्माना, सुप्रीम कोर्ट का फैसला
विज्ञापन
सुप्रीम कोर्ट ने कॉल ड्राप को लेकर दूरसंचार कंपनियों को हर्जाना देने को अनिवार्य किये जाने के ट्राई के नियम को आज खारिज कर दिया। न्यायालय ने कहा कि दूरसंचार नियामक का यह नियम स्पष्ट रूप से मनमाना है तथा दूरसंचार कंपनियों को कारोबार आगे बढ़ाने के बुनियादी अधिकारों पर अनुचित रूप से प्रतिबंध लगाता है।

शीर्ष अदालत ने कहा कि नियमन भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) कानून के अधिकार क्षेत्र से बाहर है क्योंकि जुर्माना जवाबदेही इस गलत आधार पर आधारित है कि कॉल ड्राप की गड़बड़ी पूरी तरह सेवा प्रदाताओं की है।

न्यायाधीश कुरियन जोसफ और न्यायाधीश आर एफ नरीमन की पीठ ने कहा कि इसीलिए हम इस गलत आधार पर कि गड़बडी पूरी तरह सेवा प्रदाता की है, जुर्माना जवाबदेही को पूरी तरह मनमाना और अनुचित करार देते हैं।’’ पीठ ने कहा कि साथ ही एक ग्राहक को इस प्रकार का जुर्माना देना जिसकी स्वयं गड़बड़ी हो सकती है और जो ग्राहकों को अनुचित लाभ देता है, भी अतर्कसंगत है।

न्यायालय ने कहा, ‘‘इसके परिणामस्वरूप हम दिल्ली उच्च न्यायालय के फैसले को खारिज करते हैं और इन अपीलों को स्वीकार करते हैं तथा ट्राई कानून के इस रद्द नियमन को अधिकार क्षेत्र से बाहर तथा अपीलकर्ताओं के अनुच्छेद 14 तथा 19 (1) (जी) के तहत मौलिक आधिकारों का उल्लंघन मानते हैं।’’ महान्यायवादी मुकुल रोहतगी की दलीलों का जिक्र करते हुए पीठ ने रेखांकित किया कि कॉल ड्रांप के दो तरफा है..एक ग्राहक की गलती हो सकती है तथा दूसरा सेवा प्रदाता की गलती हो सकती है।’’ पीठ ने अपने 99 पृष्ठ के आदेश में कहा, ‘‘अगर ऐसा है तो रद्द नियमन का आधार पूरी तरह खत्म हो जाता है: नियमन इस तथ्य पर आधारित है कि सेवा प्रदाता इसके लिये 100 प्रतिशत जिम्मेदार है।’’

सुप्रीम कोर्ट ने भारत के एकीकृत दूरसंचार सेवा प्रदाताओं और वोडाफोन, भारती एयरटेल तथा रिलायंस जैसे 21 दूरसंचार परिचालकों के संगठन सीओएआई द्वारा दायर याचिका पर यह फैसला सुनाया। इस याचिका में दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती दी गई थी जिसने ट्राई के इस साल जनवरी से कॉल ड्राप के संबंध में उपभोक्ताओं को मुआवजा देना अनिवार्य बनाने के फैसले को उचित ठहराया था। दूरसचांर कंपनियों ने इससे पहले सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि पूरा क्षेत्र भारी-भरकम रिण से दबा है और उन्हें स्पेक्ट्रम के लिए बड़ी राशि का भुगतान करना है इसलिए कॉल ड्राप को बिल्कुल बर्दाश्त न करने का नियम उन पर लागू नहीं किया जाना चाहिए।

कंपनियों ने ट्राई के इस आरोप को खारिज किया कि वे भारी-भरकम मुनाफा कमाती हैं। दूरसंचार कपंनियों ने कहा कि उन्होंने बुनियादी ढांचे में काफी निवेश किया हुआ है।

ट्राई ने न्यायालय से कहा था कि उपभोक्ताओं के हितों की रक्षा के वास्ते वह कॉल ड्राप के लिए दूरसंचार कंपनियों के खिलाफ कार्रवाई करेगा क्योंकि सेवा प्रदाता उन्हें मुआवजा देने के लिए तैयार नहीं हैं। 
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

ये भी पढ़े: , Airtel, Call Drops, COAI, India, Reliance, Telecom, Trai
Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. Tecno Pova 7 Pro vs Moto G96 5G vs Samsung Galaxy M36 5G: जानें कौन सा फोन रहेगा बेस्ट
  2. सैमसंग की नई फोल्डेबल स्मार्टफोन सीरीज ने भारत में बनाया बुकिंग का रिकॉर्ड
  3. Redmi 15C में मिल सकती है 6,000mAh बैटरी, जल्द लॉन्च की तैयारी
  4. Samsung Galaxy F36 5G Launched in India: 5000mAh बैटरी और AI फीचर्स वाला सैमसंग फोन भारत में लॉन्च, जानें कीमत
  5. AI से नेताओं की नौकरी तो सुरक्षित है, लेकिन क्या आप सेफ हैं?
  6. OnePlus 13, 13R और 13s की गिरी कीमत, बंपर डिस्काउंट के साथ खरीदें
  7. Jio का यह Recharge किया तो Netflix फ्री
  8. Samsung Galaxy F36 5G आज भारत में होगा 12 बजे लॉन्च, जानें अनुमानित कीमत, फीचर्स और स्पेसिफिकेशंस
  9. OnePlus Pad 3 की जल्द शुरू होगी भारत में सेल, 12,140mAh की पावरफुल बैटरी
  10. AI से कहीं रोजगार का खतरा तो कुछ सेक्टर में जॉब्स की बहार
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »