देश में पिछले कुछ वर्षों में यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) का दायरा तेजी से बढ़ा है। इसका विदेश में भी एक्सपैंशन किया जा रहा है। इसी कड़ी में सोमवार को UPI सर्विस का श्रीलंका और मॉरीशस में लॉन्च किया गया। इस वर्चुअल इवेंट में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ श्रीलंका के प्रेसिडेंट रनिल विक्रमसिंघे और मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रवीण जुगनाथ भी शामिल हुए।
भारत के इन दोनों देशों के साथ द्विपक्षीय आर्थिक संबंध मजबूत हो रहे हैं। मॉरीशस में RuPay कार्ड सर्विस को भी लॉन्च किया गया है। इससे श्रीलंका और मॉरीशस की यात्रा करने वाले भारतीयों के लिए
UPI सर्विस उपलब्ध होगी। प्रधानमंत्री मोदी ने इसे मॉडर्न डिजिटल टेक्नोलॉजी के साथ ऐतिहासिक संबंधों को जोड़ने वाला बताया है। उन्होंने उम्मीद जताई कि नई फिनटेक सर्विसेज से दोनों देशों को मदद मिलेगी। मोदी का कहना था कि UPI ने भारत के साथ
सहयोगियों को एकजुट करने की नई जिम्मेदारी संभाली है। मोदी ने कहा, "हिंद महासागर क्षेत्र में तीन मित्र देशों के लिए यह विशेष अवसर है क्योंकि हमारे ऐतिहासिक संबंधों को मॉडर्न डिजिटल टेक्नोलॉजी के साथ जोड़ा जा रहा है।"
पिछले कुछ महीनों में देश में डिजिटल रुपये का दायरा भी बढ़ा है। इससे रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) को पिछले वर्ष के अंत तक इसकी प्रति दिन 10 लाख ट्रांजैक्शंस का टारगेट पूरा करने में आसानी हुई है। सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) या ई-रुपये को कैश के डिजिटल विकल्प के तौर पर डिस्ट्रीब्यूटेड लेजर टेक्नोलॉजी के जरिए तैयार किया गया है।। ई-रुपये का ट्रायल RBI ने शुरू किया था। हालांकि, इसके बाद पिछले वर्ष अक्टूबर तक ये ट्रांजैक्शंस लगभग 25,000 प्रति दिन तक पहुंची थी। इसका यूज केस भी बढ़ाया गया था और इसे बड़ी संख्या में इस्तेमाल होने वाले यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) से जोड़ा गया था।
UPI में मोबाइल ऐप्स के जरिए रकम भेजने की सुविधा मिलती है। पिछले वर्ष के अंत में कुछ बड़े सरकारी और प्राइवेट बैंकों ने एंप्लॉयी बेनेफिट स्कीम्स से जुड़ी रकम को एंप्लॉयीज के CBDC वॉलेट्स में ट्रांसफर किया था। इनमें HDFC Bank, Kotak Mahindra Bank, Axis Bank, Canara Bank और IDFC First Bank शामिल थे। इससे ये ट्रांजैक्शंस तेजी से बढ़ी हैं। RBI को उम्मीद है कि कुछ नॉन-फाइनेंशियल फर्में भी इस तरीके का इस्तेमाल कर सकती हैं। इससे इन ट्रांजैक्शंस को तेजी से बढ़ाया जा सकेगा।