माइक्रोसॉफ्ट एज ब्राउज़र की तरफ यूज़र को आकर्षित करना चाहती है। और इसी इरादे से माइक्रोसॉफ्ट ने जून में एक वीडियो जारी किया था जिसमें लोगों को यह कहकर आकर्षित करने की कोशिश की गई थी कि एज ब्राउज़र दूसरे ब्राउज़र की तुलना में कम बैटरी खपत करता है। अब, कंपनी ने विंडोज़ 10 यूज़र को नोटिफिकेशन भेजना शुरू कर दिया है जिसमें उन्हें एज ब्राउज़र पर स्विच करने को कहा जा रहा है।
इस नोटिफिकेशन को सबसे पहले ऐप डेवलेपर रूडी हुन ने
देखा और उन्होंने इस नोटिफिकेशन का एक स्क्रीन शॉट भी साझा किया। विंडोज़ 10 का यह फीचर यूज़र को नोटिफिकेशन के जरिए ब्राउज़र स्विच करने के लिए कह रहा है। नोटिफिकेशन में कहा गया है, ''क्रोम तेजी से आपकी बैटरी की खपत कर रहा है। माइक्रोसॉफ्ट एज पर स्विच करें और 36 प्रतिशत तक ज्यादा बैटरी लाइफ पाए।'' हालांकि इस नोटिफिकेशन को विंडोज़ 10 इस्तेमाल कर रहे सभी यूज़र द्वारा नहीं देखा गया।
माइक्रोसॉफ्ट द्वारा एज की तरफ यूज़र का ध्यान आकर्षित करने के लिए विंडोज़ 10 का इस्तेमाल महत्वपूर्ण साबित हो सकता है लेकिन कुछ यूज़र को यह परेशानी भरा लग सकता है। विंडोज़ 10 के लॉन्च के समय से ही कंपनी ने अपनी आक्रामक नीतियों के चलते कई ग्राहकों को नाराज़ किया है। यहां तक कि कंपनी द्वारा एक महिला को बिना उसकी अनुमति के उसके पीसी में जबरदस्ती विंडोज़ 10 अपडेट करने के लिए 10,000 डॉलर (करीब, 6,70,000 रुपये) भी
चुकाने की खबर सामने आई। विंडोज़ 10 अपडेट से इस महिला को अपने पीसी में मौज़ूद कुछ जरूर फाइल और डॉक्यूमेंट खोने पड़ गए थे।
जैसा कि हमने ऊपर बताया कि रेडमंड की इस कंपनी जून में एक वीडियो लॉन्च किया था जिसमें एज ब्राउज़र पर चलने वाले लैपटॉप की बैटरी लाइफ की तुलना क्रोम, फायरफॉक्स और ओपेरा पर चल रहे लैपटॉप की बैटरी लाइफ से की गई थी। माइक्रोसॉफ्ट का दावा था कि एज ब्राउज़र से दूसरे ब्राउज़र की तुलना में 17-70 प्रतिशत तक ज्यादा बैटरी लाइफ मिलती है।
पिछले महीने, माइक्रोसॉफ्ट ने दावा किया था कि ऐप्पल के ओएस एक्स पर सफारी ब्राउज़र के अलावा नेटफ्लिक्स स्ट्रीमिंग के लिए 1080 पिक्सल तक फुल एचडी प्लेबैक रिज़ॉल्यूशन सपोर्ट करने वाला यह अकेला ब्राउज़र है।