तुलना के लिए बता दें कि ट्रैकर के मुताबिक, 2023 में 1,191 टेक कंपनियों द्वारा 263,180 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला था और 2022 में 1,064 टेक कंपनियों ने 165,269 लोगों की छटनी की थी।
मेटा और गूगल जैसे बड़ी टेक्नोलॉजी कंपनियों को कुछ देशों में रेगुलेशंस का पालन नहीं करने की वजह से मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। हाल ही में केंद्र सरकार ने कहा था कि इंटरनेट पर बड़ी ऐड-टेक कंपनियों की दबदबा चिंता का विषय है
कंपनी ने अपनी प्रॉफिट वाली क्लाउड और एडवर्टाइजिंग डिविजंस से बड़ी संख्या में वर्कर्स को हटाने की योजना बनाई है। इसके अलावा इसकी स्ट्रीमिंग डिविजन Twitch से भी स्टाफ घटाया जाएगा
कुछ महीने पहले भी Meta ने अपने स्टाफ में 11,000 से अधिक वर्कर्स को घटाया था। कंपनी ने अपने फाइनेंशियल टारगेट्स को पूरा करने के लिए दोबारा छंटनी करने का फैसला किया है
इससे पहले Google, Microsoft, Amazon, SAP, Twitter और Meta जैसी बड़ी टेक कंपनियों में बड़ी संख्या में वर्कर्स की छंटनी की गई है। मेडिकल इक्विपमेंट मेकर फिलिप्स ने इस सप्ताह वर्कफोर्स में कटौती की जानकारी दी थी
गूगल ने CCI के ऑर्डर के कारण देश में Android से जुड़े इकोसिस्टम की ग्रोथ रुकने की चेतावनी दी है। इस ऑर्डर में कंपनी से एंड्रॉयड की मार्केटिंग के तरीके में बदलाव करने के लिए कहा गया था
CCI ने गूगल को चलाने वाली अमेरिकी कंपनी Alphabet Inc पर एंड्रॉयड के मार्केट में अपनी दबदबे वाली स्थिति का गलत इस्तेमाल करने के लिए पिछले वर्ष अक्टूबर में लगभग 16.1 करोड़ डॉलर का जुर्माना लगाया था
इस प्रोसीजर में मरीज की जांघ की हड्डी में एडजस्ट हो सकने वाला मेटल से बना पार्ट फिट किया जाता है। इसके बाद इसे एक मैग्नेटिक रिमोट कंट्रोल से तीन महीने तक प्रति दिन एक्सटेंड किया जाता है
इस काम के लिए Google अपने किसी स्ट्रीट व्यू वाहन का इस्तेमाल नहीं कर रही है। इसके बजाय भारत में कंपनी पिछली जनरेशन के Mahindra Scorpio मॉडल को यूज करेगी।