अमेरिकी टेक्नोलॉजी कंपनी Qualcomm ने बड़ी टेलीकॉम कंपनियों और ओरिजिनल इक्विपमेंट मैन्युफैक्चरर्स (OEM) के साथ मिलकर कम प्राइस वाला 5G स्मार्टफोन लॉन्च करने की योजना बनाई है। देश में पिछले कुछ महीनों में 5G नेटवर्क तेजी से बढ़ा है। हालांकि, बड़ी संख्या में टेलीकॉम यूजर्स के पास 2G सर्विस है।
एक मीडिया
रिपोर्ट में बताया गया है कि एंट्री-लेवल का 5G स्मार्टफोन लाने के लिए क्वालकॉम OEM और टेलीकॉम कंपनियों के साथ पार्टनरशिप कर सकती है। इसका प्राइस 99 डॉलर (8,200 रुपये) से कम हो सकता है। इस वर्ष के अंत तक यह स्मार्टफोन लॉन्च किया जा सकता है। इसके लिए क्वालकॉम विभिन्न OEM के साथ बातचीत कर रही है। इस रिपोर्ट में कहा गया है कि यह स्मार्टफोन 5G स्टैंडअलोन आर्किटेक्चर को सपोर्ट कर सकता है।
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स्मार्टफोन में कम कॉस्ट वाला कस्टमाइज चिपसेट दिया जा सकता है। क्वालकॉम के SVP, Chris Patrick के हवाले से इस मीडिया रिपोर्ट में बताया गया है, "यह प्रोडक्ट भारत से प्रेरित है। हम 4G से 5G पर शिफ्ट होने वालों पर फोकस कर रहे हैं।" देश में 2G यूजर्स को प्रोत्साहित करने के लिए क्वालकॉम यह चिपसेट लाने की योजना बना रही है। इससे देश में 5G यूजर्स की संख्या तेजी से बढ़ सकती है। पिछले कुछ वर्षों में टेलीकॉम सब्सक्राइबर्स की संख्या तेजी से बढ़ी है। पिछले वर्ष दिसंबर में टेलीकॉम सब्सक्राइबर बेस महीना-दर-महीना आधार पर मामूली बढ़कर119 करोड़ का था। बड़ी टेलीकॉम कंपनियों Bharti Airtel और Reliance Jio के सब्सक्राइबर्स की संख्या बढ़ी है।
टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI) के डेटा के अनुसार, दिसंबर में मोबाइल सब्सक्राइबर्स की संख्या बढ़कर 119.03 करोड़ पर पहुंच गई। इससे पिछले महीने में यह संख्या 118.57 करोड़ की थी। Vodafone Idea के सब्सक्राइबर्स की संख्या 13.68 लाख घटी है। सरकारी टेलीकॉम कंपनी BSNL की सर्विस को लगभग 1.5 लाख सब्सक्राइबर्स ने छोड़ा है। मोबाइल नेटवर्क की क्वालिटी और कवरेज में सुधार के लिए सरकार ने लगभग 11.6 अरब डॉलर से अधिक का स्पेक्ट्रम नीलाम करने की योजना बनाई है। इस नीलामी में 800, 900, 1,800, 2,100, 2,300, 2,500, 3,300 MHz और 26 GHz के बैंड्स में 10,523.1 मेगाहर्ट्ज स्पेक्ट्रम शामिल किया जाएगा। हालांकि, टेलीकॉम इंडस्ट्री के एक्सपर्ट्स का कहना है कि टेलीकॉम कंपनियों के बीच कड़ी प्रतिस्पर्धा से इनके मार्जिन पर असर पड़ रहा है। इससे अतिरिक्त स्पेक्ट्रम के लिए बिड देने की इनकी क्षमता भी कम हो सकती है।