हाई परफॉर्मेंस चिप्स पर अमेरिका के एक्सपोर्ट बैन से चीन को बड़ा नुकसान

इन चिप्स का इस्तेमाल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एप्लिकेशंस को चलाने और डेटा सेंटर्स में किया जाता है

हाई परफॉर्मेंस चिप्स पर अमेरिका के एक्सपोर्ट बैन से चीन को बड़ा नुकसान

इससे दोनों देशों के बीच पहले से चल रहा तनाव और बढ़ सकता है

ख़ास बातें
  • इससे चीन को एडवांस्ड टेक्नोलॉजी की जरूरतों को पूरा करने में मुश्किल होगी
  • इन चिप्स का इस्तेमाल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस ऐप्स को चलाने में होता है
  • अमेरिका ने चीन की कुछ फर्मों पर भी रोक लगाई थी
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अमेरिका के हाई परफॉर्मेंस चिप्स के एक्सपोर्ट पर बैन लगाने से चीन को टेक्नोलॉजी हासिल करने में मुश्किल होगी। इससे दोनों देशों के बीच पहले से चल रहा तनाव और बढ़ सकता है। अमेरिका ने Nvidia और एडवांस्ड माइक्रो डिवाइसेज (AMD) की ओर से चीन को इन चिप्स के एक्सपोर्ट पर रोक लगाई है। 

इन चिप्स का इस्तेमाल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एप्लिकेशंस को चलाने और डेटा सेंटर्स में किया जाता है। इन पर रोक लगने से चीन की फर्मों को एडवांस्ड टेक्नोलॉजी की जरूरतों को पूरा करने में मुश्किल होगी। अमेरिका ने चीन की एडवांस्ड टेक्नोलॉजी तक पहुंचने को रोकने की कोशिशें बढ़ा दी हैं। अमेरिका के कुछ सिक्योरिटी एक्सपर्ट्स का कहना है कि इससे पहले तक चीन और रूस को इस तरह की टेक्नोलॉजी के एक्सपोर्ट पर कोई रोक नहीं थी। इन देशों से खतरे को देखते हुए इस तरह का कदम उठाने की जरूरत थी। एडवांस्ड चिप्स के एक्सपोर्ट पर रोक लगाने की घोषणा के बाद Nvidia और  AMD के शेयर्स में गिरावट आई है। हालांकि, बाद में Nvidia ने बताया कि उसे हांगकांग के प्लांट से चिप्स के ऑर्डर्स को पूरा करने की अनुमति मिली है। 

बड़ी टेक्नोलॉजी कंपनियों में से एक Intel एक नए चिप के साथ ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी में इनवेस्टमेंट कर रही है। कंपनी का दावा है कि अन्य चिप्स की तुलना में यह लगभग 1,000 गुना तेज है। कुछ महीने पहले Intel ने बताया था कि नया क्रिप्टो माइनिंग चिप इस वर्ष के अंत में उपलब्ध होगा। इसके शुरुआती क्लाइंट्स में अमेरिकी इलेक्ट्रिक पावर कंपनी GRIID Infrastructure, क्रिप्टो माइनिंग फर्म Argo Blockchain और Jack Dorsey की अगुवाई वाली Block शामिल होंगे।

इंटेल का नया कस्टम कंप्यूट ग्रुप एनर्जी एफिशिएंट एक्सेलरेटर्स के नजरिए के साथ ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी के डिवेलपमेंट में योगदान देगा। क्रिप्टो माइनिंग और ब्लॉकचेन्स के लिए बड़ी मात्रा में कंप्यूटिंग पावर की जरूरत होती है जिससे एनर्जी की काफी खपत होती है। इस समस्या से निपटने के लिए कंपनी का लक्ष्य एनर्जी एफिशिएंट चिप्स बनाना है। क्रिप्टो माइनिंग में इलेक्ट्रिसिटी की खपत बहुत अधिक होने के कारण चीन जैसे कुछ देशों ने बिटकॉइन माइनिंग पर रोक लगा दी है। अमेरिका में भी क्रिप्टो माइनिंग से इलेक्ट्रिसिटी की खपत बढ़ने का विरोध किया जा रहा है। इंटेल के नए एप्लिकेशन स्पेसिफिक इंटीग्रेटेड सर्किट (ASIC) को विशेषतौर पर क्रिप्टो माइनिंग के लिए डिजाइन किया गया है। 
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ये भी पढ़े: Technology, Semiconductor, Ban, Export, Market, China, Nvidia, America, Security
नित्या पी नायर

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