बड़ी ऑटोमोबाइल कंपनियों में शामिल Toyota Kirloskar Motor (TKM) देश में अपना तीसरा प्लांट कर्नाटक में लगाएगी। इसके लिए कंपनी ने कर्नाटक सरकार के साथ मंगलवार को एक MoU पर हस्ताक्षर किए। इससे टोयोटा की प्रोडक्शन कैपेसिटी एक लाख यूनिट्स बढ़ सकती है।
कंपनी ने बताया कि वह कर्नाटक के बिदादी में बनने वाले इस प्लांट में लगभग 3,300 करोड़ रुपये का इनवेस्टमेंट करेगी। इस प्लांट से लगभग 2,000 लोगों को रोजगार मिलेगा। जापान की यह
कंपनी देश में अपने प्रोडक्शन को बढ़ाने की योजना बना रही है। इसके पास देश में दो प्लांट हैं जिनकी कैपेसिटी लगभग 3.42 लाख यूनिट्स प्रति वर्ष की है। टोयोटा के एशिया रीजन के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर, Masahiko Maeda ने कहा कि देश का मार्केट कंपनी के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। नए प्लांट से कंपनी को देश में अपनी बिक्री बढ़ाने में भी मदद मिलेगी।
हाल ही में Toyota Motor Corporation ने एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की थी। कंपनी ने अपने पहले व्हीकल Model G1 truck की मैन्युफैक्चरिंग के लगभग 88 वर्ष बाद 30 करोड़ व्हीकल्स की कुल मैन्युफैक्चरिंग का आंकड़ा पार कर लिया है। इनमें जापान और अन्य देशों में कंपनी की फैक्टरियों में बनाए गए व्हीकल्स शामिल हैं। इस वर्ष सितंबर में टोयोटा ने 30 करोड़ कारों की मैन्युफैक्चरिंग का आंकड़ा हासिल किया था। इनमें से 18 करोड़ से अधिक यूनिट्स की मैन्युफैक्चरिंग कंपनी ने जापान और बाकी कई अन्य देशों में मौजूद अपनी फैक्टरियों में की है। इनमें Corolla की सबसे अधिक 53 करोड़ से अधिक यूनिट्स हैं। इस सेडान को 1966 में पहली बार लॉन्च किया गया था और तब से इसमें कई बदलाव हुए हैं। यह दुनिया भर में सबसे लोकप्रिय कारों में शामिल है। हालांकि, पिछले कुछ वर्षों में टोयोटा के लिए
इलेक्ट्रिक व्हीकल्स (EV) सहित चुनौतियां बढ़ी हैं।
टोयोटा की योजना देश में एक नई SUV लॉन्च करने की भी है। इसमें Maruti Suzuki के ब्रांड के तहत बिकने वाला मॉडल भी शामिल है। कंपनी को तीसरे प्लांट से अपनी प्रोडक्शन कैपेसिटी को 30 प्रतिशत तक बढ़ाने में आसानी होगी। प्रोडक्शन वॉल्यूम के लिहाज से दुनिया की इस सबसे बड़ी कार मेकर का इंटरनेशनल मार्केट में पैसेंजर व्हीकल सेगमेंट में दबदबा है लेकिन भारत में कंपनी की सेल्स अधिक नहीं है। इसके Fortuner जैसे मॉडल अपने सेगमेंट में बड़ी हिस्सेदारी रखते हैं लेकिन स्मॉल कार सेगमेंट में इसकी स्थिति कमजोर है।