ऐप आधारित टैक्सी सेवा देने वाली कंपनी डीडी चक्सिंग ने अमेरिका की उबर टेक्नोलाजीज़ के चीनी कारोबार का 35 अरब डालर में अधिग्रहण किया है। दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था चीन में उबर को कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा था।
इस सौदे के तहत उबर डीडी में 5.89 प्रतिशत हिस्सेदारी लेगी। हालांकि, उबर में डीडी कितनी हिस्सेदारी लनेगी इसके बारे में खुलासा नहीं किया गया है। चीन में उबर कंपनी की इकाई इस सौदे के बाद भी स्वतंत्र रूप से काम करती रहेगी। इस सौदे के साथ ही चीन ने मांग पर यात्रा सुविधा सेवाओं को वैध करार दिया है।
अधिग्रहण के इस सौदे के बाद उबर के संस्थापक ट्राविस कालानिक और डीडी के संस्थापक चेंग वेई एक दूसरे के निदेशक मंडल में बैठेंगे।
दोनों कंपनियों चीन के बाजार में एक दूसरे के खिलाफ कड़ी प्रतिस्पर्धा में काम कर रही थी। इस प्रतिस्पर्धा के चलते पिछले साल से दोनों ग्राहकों को काफी रियायत दे चुकीं हैं।
चीनी कारोबार के विलय के बाद उबर अब भारतीय बाजार पर ज्यादा आक्रमक तरीके से ध्यान दे सकेगी। उबर के लिये अमेरिका तथा चीन के बाद भारत तीसरा सबसे बड़ा बाजार है।
दिलचस्प बात यह है कि भारत में उबर की ओला के साथ कड़ी प्रतिस्पर्धा है जो कि डीडी को निवेशक के रूप में देखता है। डीडी ने पहले ही बैंगलूरू स्थित ओला में 50 करोड़ डालर का निवेश किया है।
पिछले साल दिसंबर में डीडी चुक्सिंग ने ओला और अमेरिका के लिफ्ट और ग्रेब टैक्सी ने मिलकर एक वैश्विक समझौता किया जिसके तहत उबर से प्रतिस्पर्धा के लिये विभिन्न देशों में ग्राहकों और प्रौद्योगिकी को साझा किया जा सके।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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