एक अधिक प्रभावशाली अल-नीनो इवेंट के कारण इसकी बर्फ के पिघलने की रफ्तार में एकदम से तेजी आ गई थी। उसके बाद से ग्लेशियर का पिघलना जारी है, और जो बर्फ पिघल चुकी है उसकी भरपाई नहीं हो पा रही है।
इसे सोलर रेडिएशन मॉडिफिकेशन (SRM) भी कहा जाता है। सोलर जियोइंजीनियरिंग सुनने में जितना सरल और कारगर लग रहा है, इसके साथ उतने ही जोखिम भी जुड़े बताए गए हैं।
WMO ने कहा है कि 2022 और 2026 के बीच कम से कम एक वर्ष में रिकॉर्ड पर सबसे गर्म होने का 93 प्रतिशत मौका है, जिसके बाद वह संभावित साल 2016 को टॉप पोजीशन से दूसरे नंबर पर ले आएगा।
इस खबर को लिखने तक, तस्वीर को 9 लाख से ज्यादा यूज़र्स द्वारा लाइक किया जा चुका था। कई लोगों ने तस्वीर की खूबसूरती को निहारा और कई यूज़र्स ने क्लाइमेट चेंज व ग्लोबल वॉर्मिंग को लेकर चिंता व्यक्त की।