• होम
  • विज्ञान
  • ख़बरें
  • Aliens : अब AI करेगा एलियंस की खोज! वैज्ञानिकों ने डेवलप की नई ‘तकनीक’, जानें इसके बारे में

Aliens : अब AI करेगा एलियंस की खोज! वैज्ञानिकों ने डेवलप की नई ‘तकनीक’, जानें इसके बारे में

Aliens : फ्यूचर में इस एआई सिस्‍टम को अंतरिक्ष में भेजे जाने वाले रोबोटों पर लगाया जा सकता है।

Aliens : अब AI करेगा एलियंस की खोज! वैज्ञानिकों ने डेवलप की नई ‘तकनीक’, जानें इसके बारे में

इस एआई मेथड को ऑस्‍ट्रेलिया में चल रही एक रिसर्च में इस्‍तेमाल किया जा सकता है।

ख़ास बातें
  • वैज्ञानिकों ने डेवलप की नई मेथड
  • जीवन की संभावनाओं का लगा सकती है पता
  • स्‍पेस मिशनों में यूज हो सकती है मेथड
विज्ञापन
पृथ्‍वी से बाहर जीवन की तलाश में वैज्ञानिकों की टीम दिन-रात एक किए हुए है। विभिन्‍न देशों की एजेंसियों के मिशन मंगल ग्रह से लेकर चंद्रमा, बृहस्‍पति जैसे ग्रहों को टटोल रहे हैं। सबसे ज्‍यादा खोज मंगल ग्रह (Mars) पर हो रही है। वहां अतीत में पानी की मौजूदगी के सबूत भी मिले हैं। लेकिन जीवन की संभावनाओं का पता अबतक नहीं चल पाया है। क्‍या इस दिशा में AI यानी आर्टिफ‍िशियल इंटेलिजेंस कुछ क्रांति ला सकता है। एक नई मेथड से इसकी उम्‍मीद जगी है। 

स्‍पेसडॉटकॉम की रिपोर्ट के अनुसार, स्‍पेस एजेंसियां जिन स्‍पेसक्राफ्ट को दूसरे ग्रहों पर भेज रही हैं, उनमें लगे सेंसर वहां जीवन की मौजूदगी बताने वाले मॉलिक्‍यूल्‍स का पता लगाने की क्षमता रखते हैं। हालांकि ये मॉलिक्‍यूल्‍स वक्‍त के साथ खराब हो जाते हैं। ऐसे में मौजूदा तकनीक कई बार नाकाफी साबित होती है। 

रिपोर्ट कहती है कि अब AI पर बेस्‍ड एक नई मेथड को डेवलप किया गया है। यह मॉलिक्‍यूल पैटर्न में छोटे से अंतर को भी भांप सकती है। लाखों साल पुराने सैंपलों को भी यह अच्‍छे से जांच सकती है और 90 फीसदी एक्‍यूरेसी के साथ रिजल्‍ट देने में सक्षम है। 

फ्यूचर में इस एआई सिस्‍टम को अंतरिक्ष में भेजे जाने वाले रोबोटों पर लगाया जा सकता है। इस सिस्‍टम को चांद, मंगल ग्रह और बृहस्‍पति के चंद्रमा यूरोपा पर जाने वाले स्‍पेसक्राफ्ट में भी जोड़ा जा सकता है। इस मेथड से जुड़ा रिसर्च पेपर नेशनल अकेडमी और साइंसेज में पब्लिश हुआ है। 

रिसर्चर्स की टीम ने करीब 134 सैंपलों के साथ मशीन लर्निंग एल्गोरिदम को ट्रेनिंग दी। टीम ने 59 जैविक (biotic) और 75 अजैविक (abiotic) सैंपलों का इस्‍तेमाल किया। एआई मेथड से दांतों, हड्डियों, इंसान के बाल, कोयला, तेल आदि से बने जीवाश्‍म टुकड़ों (fossilized fragments) में प्रिजर्व किए गए जैविक नमूनों की पहचान कर ली गई। 

इंस्‍ट्रूमेंट ने लैब में बनाए गए अजैविक सैंपलों को भी पहचान लिया। इस एआई मेथड को ऑस्‍ट्रेलिया में चल रही एक रिसर्च में इस्‍तेमाल किया जा सकता है। अगर वहां यह सफलतापूर्वक काम कर जाती है, तो भविष्‍य में अंतरिक्ष में इसे यूज करने की उम्‍मीद बढ़ जाएगी। 

 
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

प्रेम त्रिपाठी

प्रेम त्रिपाठी Gadgets 360 में चीफ सब एडिटर हैं। 10 साल प्रिंट मीडिया ...और भी

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. Truecaller के हुए 30 लाख पेड यूजर, iOS पर आंकड़ा 10 लाख के पार!
  2. OnePlus 13s Launch LIVE: OnePlus 13s आज होगा पेश, ऐसे देखें लाइव इवेंट, जानें कैसे होंगे फीचर्स
  3. Amazfit Active 2 Square जल्द होगी हार्ट रेट ट्रैकिंग और 160 स्पोर्ट्स मोड्स के साथ लॉन्च
  4. 50MP कैमरा, 5000mAh बैटरी वाला Realme फोन खरीदें फ्लिपकार्ट पर 4000 रुपये सस्ता
  5. Elon Musk की स्टारलिंक के विरोध में रिलायंस और एयरटेल, स्पेक्ट्रम के कम रेट से नाराज
  6. भारत की नई EV पॉलिसी में Elon Musk की Tesla को नहीं है दिलचस्पी!
  7. Apple Design Awards 2025: इस बार चीन और अमेरिका के ऐप्स और गेम्स छाए टॉप लिस्ट में, भारत गायब
  8. Vivo V50e खरीदने वालों को Vi का बड़ा तोहफा, हर दिन 3GB डेली डेटा और 17 OTT सब्सक्रिप्शन!
  9. Ola Electric की बढ़ी मुश्किल, भारी लॉस के बाद Hyundai, Kia ने बेची बड़ी हिस्सेदारी
  10. Telegram में आया नया अपडेट: चैनल्स को करें DM, वॉइस मैसेज करें ट्रिम, भेजें HD फोटो और भी बहुत कुछ...
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »