पिछले कुछ सप्ताह से क्रिप्टो मार्केट में वोलैटिलिटी है। मार्केट वैल्यू के लिहाज से सबसे बड़ी क्रिप्टकरेंसी Bitcoin में मंगलवार को लगभग 0.20 प्रतिशत की तेजी थी। इसके अलावा बहुत सी क्रिप्टोकरेंसीज के प्राइस बढ़े हैं। मार्केट एनालिस्ट्स का कहना है कि बिटकॉइन के लिए 96,000 डॉलर पर महत्वपूर्ण रेजिस्टेंस है।
इस रिपोर्ट को पब्लिश किए जाने पर इंटरनेशनल क्रिप्टो एक्सचेंज
Binance पर बिटकॉइन का प्राइस 94,970 डॉलर से कुछ अधिक पर था। दूसरी सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी Ether में 1.50 प्रतिशत से अधिक की तेजी थी। Ether का प्राइस लगभग 1,840 डॉलर पर ट्रेड कर रहा था। इसके अलावा BNB और Solana के प्राइस भी बढ़े हैं। XRP जैसी कुछ क्रिप्टोकरेंसीज में नुकसान था। पिछले एक दिन में बिटकॉइन का मार्केट कैपिटलाइजेशन लगभग 1.87 लाख करोड़ डॉलर का रहा है। इस सबसे लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी के लिए 96,000 डॉलर पर रेजिस्टेंस है। बिटकॉइन स्पॉट ETFs से लगभग 38 करोड़ डॉलर का विड्रॉल हुआ है। हालांकि, इसका बिटकॉइन के प्राइस पर मामूली असर हुआ है।
बिटकॉइन के एक लाख डॉलर का लेवल पार करने के बाद यह नया हाई बना सकता है। हाल ही में व्हाइट हाउस के डिजिटल एसेट्स पर प्रेसिडेंट की एडवाइजर्स की काउंसिल के एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर, Bo Hines ने बताया था कि अमेरिकी सरकार
बिटकॉइन की होल्डिंग के लिए अपने गोल्ड के रिजर्व का इस्तेमाल करने के तरीकों पर विचार कर रही है। उन्होंने कहा था, "अगर हम गोल्ड के रिजर्व पर प्रॉफिट को बुक करते हैं तो यह बिटकॉइन खरीदने का एक अच्छा तरीका होगा।" Hines ने सीनेटर Cynthia Lummis की ओर से पेश किए गए बिटकॉइन एक्ट का भी जिक्र किया था। इसमें लगभग 10 लाख बिटकॉइन खरीदने का पक्ष लिया गया था।
क्रिप्टो मार्केट में स्कैम से जुड़े मामलों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। इस समस्या पर लगाम लगाने के लिए बहुत से देशों में क्रिप्टो से जुड़े रेगुलेशंस बनाए जा रहे हैं। भारत में फाइनेंशियल इंटेलिजेंस यूनिट (FIU) ने सभी क्रिप्टो एक्सचेंजों से उनके यूजर्स के नो-युअर-कस्टमर (KYC) डेटा का वेरिफिकेशन जून के अंत तक कराने का निर्देश दिया है। सभी क्रिप्टो एक्सचेंजों के लिए 18 महीने से पुरानी KYC डिटेल्स को रिफ्रेश करना अनिवार्य होगा। हाल ही में क्रिप्टो एक्सचेंज Binance ने देश में अपने यूजर्स को ईमेल के जरिए दोबारा वेरिफिकेशन के प्रोसेस के बारे में जानकारी दी थी।