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Google को कोर्ट से मिला भारत के मसालों की बदनामी करने वाले YouTube वीडियो हटाने का फरमान

गूगल के वकील ने कोर्ट को बताया कि कोर्ट के इससे पहले के निर्देश का पालन करते हुए तीन वीडियो के खिलाफ कार्रवाई की गई थी और वे देखने के लिए उपलब्ध नहीं हैं

Google को कोर्ट से मिला भारत के मसालों की बदनामी करने वाले YouTube वीडियो हटाने का फरमान
ख़ास बातें
  • इन वीडियोज को कथित तौर पर अपलोड करने वालों को एक्स पार्टे करार दिया गया
  • यूट्यूब पर मसालों के बारे में गलत जानकारी वाले वीडियो अपलोड हुए थे
  • हाई कोर्ट ने इस मामले में वादी को सही पाया है
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इंटरनेट सर्च इंजन गूगल को दिल्ली हाई कोर्ट ने YouTube से उन वीडियोज को हटाने या ब्लॉक करने का निर्देश दिया है, जिनमें भारत के मसालों के बारे में गलत जानकारी देकर कुछ ब्रांड्स को निशाना बनाने की कोशिश की गई है। इन वीडियोज को कथित तौर पर अपलोड करने वाले दो प्रतिवादियों को कोर्ट ने एक्स पार्टे करार दिया क्योंकि वे सुनवाई में शामिल नहीं हुए थे। 

हाई कोर्ट ने कहा कि वह इसे लेकर आश्वस्त है कि प्रतिवादियों ने ऐसे वीडियो बनाने और अपलोड करने के जरिए वादी के 'कैच' मार्क वाले गुड्स की बदनामी और बुराई करने की जानबूझ कर कोशिश की है। जस्टिस Sanjeev Narula ने कहा, "इन यूट्यूब वीडियोज पर मिले कमेंट्स से पता चलता है कि लोग इनसे प्रभावित हो रहे हैं और ऐसी गलत जानकारी पर विश्वास कर रहे हैं। इससे वादी को बहुत नुकसान हो रहा है। इन वीडियोज तक आसान और बिना किसी रोक वाली पहुंच को देखते हुए, ऐसी संभावना है कि बदनामी वाले वीडियोज को वास्तविक स्थिति की जानकारी नहीं रखने वाले बड़ी संख्या में लोगों की ओर से शेयर किया जा देखा जा सकता है।" 

गूगल के वकील ने कोर्ट को बताया कि कोर्ट के इससे पहले के निर्देश का पालन करते हुए तीन वीडियो के खिलाफ कार्रवाई की गई थी और वे देखने के लिए उपलब्ध नहीं हैं। हाई कोर्ट ने कहा कि दो प्रतिवादी चैनलों (TYR और Views NNews) ने देश के मसालों, विशेषतौर पर वादी के 'कैच' ब्रांड के खिलाफ अपमानजनक और झूठी टिप्पणियां करने वाले वीडियोज गलत इरादे से अपलोड किए थे। इस ब्रांड को चलाने वाली फर्म ने कहा था कि उसके कस्टमर्स की बड़ी संख्या है और उसके मसालों की क्वालिटी और स्वच्छता के लिए उच्च मापदंड रखे जाते हैं। 

वादी ने देश के मसालों के बारे में गलत जानकारी देने और मसालों के कारोबार से जुड़े ब्रांड्स को निशाना बनाने वाले वीडियोज के बारे में पता चलने के बाद कोर्ट से गुहार लगाई थी। उसका कहना था कि इन वीडियोज को एक वॉयसओवर के साथ दिखाया गया है और इनमें मसालों के बारे में अपमानजनक और झूठी जानकारी दी गई है। कोर्ट ने इस मामले में वादी के पक्ष में फैसला दिया है।  
 

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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आकाश आनंद

Gadgets 360 में आकाश आनंद डिप्टी न्यूज एडिटर हैं। उनके पास प्रमुख ...और भी

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