OTT कंटेंट सर्विसेज को कानूनी दायरे के लाने के खिलाफ Reliance Jio 

रिलायंस जियो ने बताया है कि OTT कंटेंट सर्विसेज पहले ही इनफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट एंड रूल्स के दायरे में आती हैं

विज्ञापन
Written by आकाश आनंद, अपडेटेड: 30 दिसंबर 2024 20:21 IST
ख़ास बातें
  • OTT पर कंटेंट को लेकर बहुत सी शिकायतें भी मिलती रही हैं
  • रिलायंस जियो की दलील है कि ये सर्विसेज पहले ही रेगुलेटरी दायरे में हैं
  • OTT प्लेटफॉर्म्स को रेगुलेट करने की मांग उठती रही है

Bharti Airtel का मानना है कि इन सर्विसेज को रेगुलेशन के दायरे में लाया जाना चाहिए

पिछले कुछ वर्षों में OTT कंटेंट सर्विसेज का दायरा तेजी से बढ़ा है। हालांकि, इस कंटेंट को लेकर बहुत सी शिकायतें भी मिलती रही हैं। बड़ी टेलीकॉम कंपनियों में शामिल Reliance Jio का मानना है कि OTT कंटेंट सर्विस को इंडियन टेलीकम्युनिकेशंस एक्ट के तहत लाने का कोई आधार नहीं है। 

इससे पहले Bharti Airtel जैसे अन्य स्टेकहोल्डर्स ने कहा था कि ब्रॉडबैंड और मोबाइल के जरिए ब्रॉडकास्ट कंटेंट को डिलीवर करने वाली ओवर-द-टॉप ( OTT) सर्विसेज को ऑथराइजेशन फ्रेमवर्क तहत लाया जाना चाहिए। इसके साथ ही इन पर समान सर्विस समान रूल्स का सिद्धांत लागू होना चाहिए। एक मीडिया रिपोर्ट में बताया गया है कि रिलायंस जियो की दलील है कि यह सिद्धांत OTT पर लागू नहीं होता। हालांकि, टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI) को रिलायंस जियो की ओर से पहले दिए फीडबैक में OTT का जिक्र नहीं था। कंपनी ने OTT कम्युनिकेशन के लिए रेगुलेशन बनाने की मांग की थी। हालांकि, रिलायंस जियो ने यह नहीं बताया था कि OTT कम्युनिकेशन प्लेटफॉर्म कैसे OTT कंटेंट प्लेटफॉर्म से अलग है। 

हाल ही में कंपनी ने Walt Disney और Viacom 18 Media Private Ltd के साथ मर्जर की घोषणा की थी। रिलायंस जियो ने अपने पत्र में OTT और डिस्ट्रीब्यूशन प्लेटफॉर्म ऑपरेटर्स (DPO) के बीच अंतर के बारे में कहा है कि केबल TV, IPTV और  DTH जैसे अन्य DPO से OTT अलग हैं क्योंकि DPO खुद के ब्रॉडकास्टिंग नेटवर्क्स के जरिए ब्रॉडकास्टिंग सर्विसेज देते हैं। कंपनी ने बताया था कि OTT कंटेंट प्रोवाइडर्स पब्लिक इंटरनेट के जरिए कंटेंट उपलब्ध कराते हैं। 

रिलायंस जियो ने बताया है कि OTT कंटेंट सर्विसेज पहले ही इनफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट एंड रूल्स के दायरे में आती हैं। इसके विपरीत, भारती एयरटेल की दलील है कि रेगुलेटेड डिस्ट्रीब्यूशन प्लेटफॉर्म के समान कंटेंट उपलब्ध कराने वाली किसी प्लेटफॉर्म को समान रेगुलेटरी व्यवस्था के तहत लाया जाना चाहिए। देश की दूसरी सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी भारती एयरटेल ने Prasar Bharti के OTT प्लेटफॉर्म को भी ऑथराइजेशन फ्रेमवर्क के तहत लाने की मांग की है। इससे पहले भी OTT पर कंटेंट और ये सर्विसेज उपलब्ध कराने वाले प्लेटफॉर्म्स को रेगुलेटरी दायरे में लाने की मागं उठती रही है। इसे लेकर कानूनी मामले भी दाखिल किए जा चुके हैं। 
 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

Gadgets 360 में आकाश आनंद डिप्टी ...और भी

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. OnePlus 15 में मिल सकती है ट्रिपल रियर कैमरा यूनिट, जल्द होगा लॉन्च
  2. Samsung Galaxy Unpacked: लॉन्च से पहले Samsung Galaxy S25 FE, Galaxy Tab S11 के बारे में जानें सबकुछ
#ताज़ा ख़बरें
  1. Samsung Galaxy S26 Edge में हो सकती है 4,200 mAh की बैटरी, 3C सर्टिफिकेशन साइट पर हुई लिस्टिंग
  2. Flipkart Big Billion Days जल्द होगी शुरू, बंपर डिस्काउंट से होगी बचत
  3. OnePlus 15 में मिल सकती है ट्रिपल रियर कैमरा यूनिट, जल्द होगा लॉन्च
  4. Oppo A6 Max: 7000mAh बैटरी, 8GB रैम और OLED डिस्प्ले के साथ आया नया ओप्पो फोन, जानें कीमत
  5. OnePlus Pad 3 टैबलेट 47,999 रुपये में लॉन्च, 13MP कैमरा, 12140mAh बैटरी के साथ ऐसे हैं फीचर्स
  6. OnePlus ला रहा किफायती टर्बो स्मार्टफोन, परफॉर्मेंस पर रहेगा फोकस
  7. Samsung Galaxy F17 5G के लॉन्च से पहले ही लीक हो गए इंडिया प्राइस और स्पेसिफिकेशन्स
  8. Samsung Galaxy Unpacked: लॉन्च से पहले Samsung Galaxy S25 FE, Galaxy Tab S11 के बारे में जानें सबकुछ
  9. TikTok की भारत वापसी पक्की? वेबसाइट अनब्लॉक के बाद अब कंपनी ने शुरू की हायरिंग
  10. Google की 2.5 अरब Gmail यूजर्स को चेतावनी, जल्द कर लें ये काम नहीं तो...
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.