क्‍या Bitcoin के बदले अपने टैंक सरेंडर कर रहे रूसी सैन‍िक?

सरेंडर करने वाले हरेक मिलिट्री व्‍हीकल के लिए इस हैकर ग्रुप ने बिटकॉइन में 52 हजार डॉलर (लगभग 39 लाख रुपये) से अधिक का भुगतान करने का वादा किया है।

क्‍या Bitcoin के बदले अपने टैंक सरेंडर कर रहे रूसी सैन‍िक?

इस इंटरनेशल हैकर ग्रुप ने 26 फरवरी को रूस के खिलाफ ‘साइबर-वॉर’ का ऐलान किया था।

ख़ास बातें
  • पॉपुलर हैक्टिविस्ट संगठन ‘एनोनिमस’ की ओर से यह ऑफर दिया गया है
  • बदले में सैनिकों को उनके टैंकों को सरेंडर करने के लिए कहा गया है
  • बताया जा रहा है कि कई रूसी सैनिक इसके लिए तैयार भी हुए हैं
विज्ञापन
रूस और यूक्रेन युद्ध में क्रिप्‍टोकरेंसी पेशकश की खबरें भी सामने आ रही हैं। रिपोर्टों के मुताबिक, पॉपुलर हैक्टिविस्ट संगठन ‘एनोनिमस' की ओर से रूसी सैनिकों को बिटकॉइन (Bitcoin) की पेशकश की गई है। बदले में उन्‍हें उनके टैंकों को सरेंडर करने के लिए कहा गया है। सरेंडर करने वाले हरेक मिलिट्री व्‍हीकल के लिए इस हैकर ग्रुप ने बिटकॉइन में 52 हजार डॉलर (लगभग 39 लाख रुपये) से अधिक का भुगतान करने का वादा किया है। इस इंटरनेशल हैकर ग्रुप ने 26 फरवरी को रूस के खिलाफ ‘साइबर-वॉर' का ऐलान किया था। रूस के खिलाफ कई साइबर हमलों का दावा किया गया था। ग्रुप ने बताया है कि हमले की शुरुआती दो दिनों में उसने 300 से ज्‍यादा रूसी टार्गेट्स को हैक किया और 1 बिलियन रूबल (लगभग 75 करोड़ रुपये) से ज्‍यादा जुटाए हैं। 

BeInCrypto की एक रिपोर्ट के अनुसार, कई रूसी सैनिक ‘एनोनिमस' के दावों से सहमत होने के इच्छुक हैं और बिटकॉइन के बदले अपने टैंकों को ट्रेड करना चाहते हैं। इसके लिए उन्‍हें सफेद झंडा लहराना होगा और हैकर ग्रुप को पहचानने के लिए ‘मिलियन' वर्ल्‍ड का इस्‍तेमाल करना होगा। ‘एनोनिमस' ने अपने कथ‍ित बयान में कहा है कि जो रूसी सैनिक अपने परिवारों, बच्चों के साथ रहना चाहते हैं और मरना नहीं चाहते, उनके लिए ‘एनोनिमस' कम्‍युनिटी ने Bitcoin में रकम जुटाई है।  

फरवरी के आखिर में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और उनकी सरकार के खिलाफ ‘साइबर वॉर' की घोषणा करने के बाद इस ग्रुप ने ट्विटर पर एक वीडियो पोस्ट किया। इसमें चेतावनी दी गई थी कि अगर यूक्रेन पर हमलों को नहीं रोका गया, तो रूसी नेता ‘दुनिया के हर कोने से साइबर हमलों का सामना करेंगे'।

हाल ही में एनोनिमस ने दावा किया था कि उससे जुड़े एक हैकर ग्रुप ने रूस की स्‍पेस एजेंसी ‘रोस्कोस्मोस' को बंद कर दिया था। हैकर ग्रुप ने एक ट्वीट के जरिए कहा था कि रूसी अधिकारियों का ‘अपने जासूसी उपग्रहों पर कोई नियंत्रण नहीं है।' हालांकि रोस्कोस्मोस के डायरेक्‍टर जनरल दिमित्री ओलेगोविच रोगोजिन ने इन दावों का खंडन किया। उन्‍होंने कहा कि यह सच नहीं है। हमारे सभी स्‍पेस एक्टिविटी कंट्रोल सेंटर सामान्य रूप से काम कर रहे हैं।

एक ओर यूक्रेनी सेना सीधी लड़ाई में रूस को रोकने की कोशिश कर रही है, वहीं यह देश साइबर हमलों के जरिए भी रूस का मुकाबला कर रहा है। यूक्रेन के उपप्रधान मंत्री, मायखाइलो फेडोरोव ने कुछ दिन पहले ऐलान किया था कि उनकी सरकार एक IT आर्मी तैयार करेगी। 
 

भारतीय एक्सचेंजों में क्रिप्टोकरेंसी की कीमतें

Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. फ्रॉड के लिए eSIM का इस्तेमाल कर रहे स्कैमर्स, I4C ने दी चेतावनी
  2. BSNL ने गंवाए 1 लाख से ज्यादा सब्सक्राइबर्स, Reliance Jio को मिले सबसे अधिक वायरलेस कस्टमर्स
  3. NASA ने बना लिया मंगल पर घर! देखें अंदर से कैसा है ये 3D प्रिंटेड हैबिटेट
  4. Vivo T4 Pro vs Realme P4 Pro 5G vs OnePlus Nord CE 5 5G: जानें कौन सा है बेस्ट
  5. क्या आपका फोन हो गया है हैक? इन बातों पर दें ध्यान, ऐसे करें बचाव
  6. ट्रेन कहां पहुंची और कितनी देरी से चल रही है, लाइव स्टेटस ऐसे करें चेक
  7. दिल्ली मेट्रो का सफर होगा बिलकुल फ्री, यहां से करनी होगी ऑनलाइन टिकट बुकिंग
  8. Apple ने iPhone 16 Pro Max का 'मजाक' उड़ाने वाले विज्ञापन पर Xiaomi को भेजा कानूनी नोटिस
  9. Tecno Pova Slim 5G जल्द होगा भारत में लॉन्च, बिना सिग्नल वाले एरिया में भी मिलेगी कनेक्टिविटी
  10. Google Pixel 10 vs Nothing Phone 3 vs OnePlus 13: जानें कौन सा फोन है बेस्ट
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »