• होम
  • विज्ञान
  • ख़बरें
  • प्‍लास्टिक रेन के बारे में सुना है? न्‍यूजीलैंड के ऑकलैंड में हो रही ‘अजीब’ बारिश, जानें भारत का क्‍या है हाल

प्‍लास्टिक रेन के बारे में सुना है? न्‍यूजीलैंड के ऑकलैंड में हो रही ‘अजीब’ बारिश, जानें भारत का क्‍या है हाल

Plastic Rain : न्यूजीलैंड की ऑकलैंड यूनिवर्सिटी ने अपने शोध में यह बात कही है। करीब 9 हफ्तों तक चली इस स्‍टडी में सामने आया कि शहर की छतों में हर वर्ग मीटर पर 5 हजार से ज्यादा माइक्रोप्लास्टिक बिछा रहता है।

प्‍लास्टिक रेन के बारे में सुना है? न्‍यूजीलैंड के ऑकलैंड में हो रही ‘अजीब’ बारिश, जानें भारत का क्‍या है हाल

Plastic Rain : यह स्‍टडी एनवायरनमेंटल साइंस एंड टेक्‍नॉलजी में पब्लिश हुई है, जो बताती है कि ऑकलैंड में यह प्रदूषण पैकेजिंग मटीरियल से हो रहा है।

ख़ास बातें
  • दुनियाभर में हो रही प्‍लास्टिक रेन
  • न्‍यूजीलैंड के ऑकलैंड शहर में हुई स्‍टडी
  • 30 लाख प्‍लास्टिक बोतलों के बराबर बारिश
विज्ञापन
क्‍या आपने प्‍लास्टिक रेन (Plastic Rain) के बारे में सुना है? इस पर शोध होते रहे हैं, लेकिन प्‍लास्टिक रेन अब एक असलियत बन गई है। एक स्‍टडी के अनुसार, साल 2020 में न्यूजीलैंड के ऑकलैंड शहर में लगभग 74 मीट्रिक टन माइक्रोप्लास्टिक (microplastics) बारिश के जरिए आसमान से वातावरण में पहुंचा, जो प्लास्टिक की लगभग 30 लाख बोतलों के बराबर है। न्यूजीलैंड की ऑकलैंड यूनिवर्सिटी ने अपने शोध में यह बात कही है। करीब 9 हफ्तों तक चली इस स्‍टडी में सामने आया कि शहर की छतों में हर वर्ग मीटर पर 5 हजार से ज्यादा माइक्रोप्लास्टिक बिछा रहता है। 

यह स्‍टडी एनवायरनमेंटल साइंस एंड टेक्‍नॉलजी में पब्लिश हुई है, जो बताती है कि ऑकलैंड में यह प्रदूषण पैकेजिंग मटीरियल से हो रहा है। पैकेजिंग के काम में इस्‍तेमाल होने वाला पॉलीएथिलीन एक तरह का माइक्रोप्लास्टिक है। कई और तरह के माइक्रोप्‍लास्टिक भी पैकेजिंग में इस्‍तेमाल होते हैं। स्‍टडी कहती है कि माइक्रोप्लास्टिक्स अब एक प्रमुख मुद्दा है, क्योंकि इनकी मौजूदगी बारिश के पानी, हमारी फूड चेन और महासागरों में भी है। 

माइक्रोप्‍लास्टिक इतने महीन होते हैं कि उन्‍हें सिर्फ आंखों की मदद से नहीं देखा जा सकता। ये खिलौनों से लेकर गाड़‍ियों, हमारे कपड़ों आदि में मौजूद होते हैं। पानी में मिलने के बाद वेस्‍टवॉटर के रूप में ये नदियों से होते हुए समुद्र में पहुंचते हैं और फ‍िर बारिश के रूप में हमारी धरती पर आ जाते हैं। भले ही यह स्‍टडी ऑकलैंड में हुई है, लेकिन चिंता भारत समेत पूरी दुनिया के लिए है, क्‍योंकि अगर न्‍यूजीलैंड में माइक्रोप्‍लास्टिक आसमान से जमीन पर पहुंच रहे हैं, तो भारत जैसे देश में इसका दायरा और ज्‍यादा होगा। हालांकि भारत में ऐसा कोई शोध अभी तक नहीं हुआ है। लंदन, पेरिस जैसे शहरों के लिए ऐसी स्‍टडी हुई है और वहां के वातावरण में भी माइक्रोप्‍लास्टिक की मौजूदगी सामने आई है। 

वैज्ञानिक शोध तो यहां तक कह रहे हैं कि प्‍लास्टिक रेन की वजह से आर्कटिक जैसी खाली जगहें भी प्रभावित हो रही हैं। फ‍िर एशियाई देश खासकर भारत, पाकिस्‍तान, बांग्‍लादेश इससे अछूते कैसे हो सकते हैं। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, माइक्रोप्‍लास्टिक पर हुई स्‍टडी बताती हैं कि इंसान रोजाना 7 हजार माइक्रोप्‍लास्टिक अपनी सांस के साथ लेता है। यह तंबाकू के सेवन और सिगरेट पीने जितना खतरनाक है। हालांकि अभी यह सामने आना बाकी है कि माइक्रोप्‍लास्टिक की वजह से असल में सेहत पर क्‍या प्रभाव होता है।   
 

Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

संबंधित ख़बरें

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. सस्ता 5G स्मार्टफोन Honor Play 10A लॉन्च, 10% बैटरी में 65 घंटे चलने का दावा, जानें कीमत
  2. Croma Sale: iPhone 15 सबसे सस्ता! Rs 23 हजार से ज्यादा की छूट, बस लगा दें यह ऑफर
  3. Tata Motors ने बनाया रिकॉर्ड, बेचे 2.5 लाख से ज्यादा इलेक्ट्रिक व्हीकल्स 
  4. Microsoft ने H-1B वीजा वर्कर्स को दी विदेश यात्रा से बचने की चेतावनी
  5. Digtal Arrest Case: पुलिस इंस्पेक्टर बनकर 85 वर्ष के बुजुर्ग से ठगे 9 करोड़, इस तरह के स्कैम से सावधान!
  6. इस कार की सीट में लगा है 'हैलमेट एयरबैग', एक्सिडेंट के वक्त सिर की सेफ्टी पक्की! जानें कब होगी लॉन्च
  7. Oppo K15 Turbo Pro में मिल सकता है नया MediaTek Dimensity 9500s चिपसेट
  8. अगर फोन पर नहीं मिल रहा OTP तो ऐसे करें सर्च
  9. ISRO बना ग्लोबल हीरो! 'बाहुबली' रॉकेट से स्पेस में पहुंचाई सबसे भारी विदेशी सैटेलाइट, सेट किया रिकॉर्ड
  10. Elon Musk की Starlink सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस के अब 90 लाख से ज्यादा यूजर्स, भारत में कब होगी शुरू? यहां जानें
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »