नासा ने दिखाई ज्युपिटर के Ganymede मून की शानदार इमेज

ज्युपिटर पर रेडिएशन अधिक होने के कारण स्पेसक्राफ्ट के साथ ही कैप्चर की गई इमेज पर भी असर पड़ता है

विज्ञापन
Written by आकाश आनंद, अपडेटेड: 26 अक्टूबर 2022 14:12 IST
ख़ास बातें
  • जूनो ने ज्युपिटर के वातावरण में लगभग छह वर्ष पहले प्रवेश किया था
  • इससे सोलर सिस्टम के सबसे बड़े ग्रह के मौसम को समझने में मदद मिलेगी
  • इस स्पेसक्राफ्ट से ली गई इमेजेज को नासा लगातार जारी कर रही है

धरती की तुलना में ज्युपिटर पर पूर्ण ग्रहण अधिक होता है

अमेरिका की स्पेस एजेंसी NASA का जूनो मिशन ने इस वर्ष 25 फरवरी को ज्युपिटर के निकट 40वीं बार उड़ान भरी थी। इसने ज्युपिटर और इसके सबसे बड़े मून्स में से एक Ganymede की इमेजेज कैप्चर की थी। इसके बाद इन इमेजेज को धरती पर भेजा गया जहां वैज्ञानिकों ने जूनोकैम इंस्ट्रूमेंट पर बेस्ड इमेजेज को रीक्रिएट किया था। 

नासा की ओर से इनमें से एक इमेज को प्रति दिन रिलीज किया जा रहा है। इस बार की इमेज से ज्युपिटर के Ganymede मून का शानदार नजारा दिख रहा है। इस इमेज के साथ दी गई जानकारी में नासा ने बताया है, "ज्युपिटर के पास 40वीं उड़ान के दौरान जूनो स्पेसक्राफ्ट ने Ganymede को ग्रह परएक बड़ा और गहरा धब्बा बनाते देखा। जूनोकैम ने ज्युपिटर के काफी निकट से इस इमेज को कैप्चर किया था। इससे Ganymede की छाया विशेषतौर पर बड़ी दिख रही है। इस इमेज को लेने पर जूनो स्पेसक्राफ्ट ज्युपिटर से लगभग 44,000 मील ऊपर और Ganymede की तुलना में ग्रह से लगभग 15 गुना निकट था।" 

ज्युपिटर पर रेडिएशन अधिक होने के कारण स्पेसक्राफ्ट के साथ ही कैप्चर की गई इमेज पर भी असर पड़ता है। धरती की तुलना में ज्युपिटर पर पूर्ण ग्रहण अधिक होता है। इसका बड़ा कारण ज्युपिटर के चार बड़े मून होना है, जो अक्सर ज्युपिटर और सूर्य के बीच से गुजरते हैं। नासा का जूनो मिशन सोलर सिस्टम के सबसे बड़े ग्रह पर मौसम और अन्य परिस्थितियों को समझने के लिए भेजा गया है। इसने ज्युपिटर के वातावरण में लगभग छह वर्ष पहले प्रवेश किया था और यह तब से ग्रह के निकट उड़ान भर रहा है। इसने ग्रह के बारे में कुछ रोमांचक जानकारियां दी हैं। 

अंतरिक्ष में भेजी गई सबसे बड़ी दूरबीन जेम्‍स वेब टेलीस्‍कोप अपनी तस्‍वीरों से दुनिया को हैरान कर रही है। हाल ही में इस टेलीस्‍कोप ने पिलर्स ऑफ क्रिएशन की डिटेल तस्‍वीर खींची है। इसे देखकर ऐसा लगता है जैसे अंतरिक्ष में कुछ निर्माण की तैयारी चल रही है…कोई बड़ा कंस्‍ट्रक्‍शन। नासा ने बताया है कि तस्‍वीर में तारों से भरी गैस और धूल की विशाल संरचनाएं हैं। नासा और यूरोपीय स्‍पेस एजेंसी ESA ने संयुक्त तौर पर यह इमेज रिलीज की थी। नासा ने बताया कि जेम्‍स वेब टेलीस्कोप ने पृथ्वी से 6,500 प्रकाश वर्ष दूर ईगल नेबुला का यह शॉट लिया है। इन पिलर्स को सबसे पहले साल 1995 में नासा के हबल स्पेस टेलीस्कोप ने कैप्‍चर किया था लेकिन जेम्‍स वेब टेलीस्कोप की इंफ्रारेड कैपेसिटी के कारण इस इमेज को और बारीकी से कैप्‍चर किया गया है। 
 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

Gadgets 360 में आकाश आनंद डिप्टी ...और भी

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. Vivo ने लॉन्च किया G3 5G, MediaTek Dimensity 6300 चिपसेट, जानें प्राइस, स्पेसिफिकेशंस
#ताज़ा ख़बरें
  1. Vivo ने लॉन्च किया G3 5G, MediaTek Dimensity 6300 चिपसेट, जानें प्राइस, स्पेसिफिकेशंस
  2. Infinix Hot 60i 5G भारत में हुआ लॉन्च, 6,000 mAh की बैटरी
  3. 20 हजार वाले Samsung Galaxy A35 5G, Vivo T4 5G और Moto G96 5G जैसे स्मार्टफोन्स पर जबरदस्त डील
  4. Ola Electric ने लॉन्च किया S1 Pro Sport, जानें प्राइस, रेंज
  5. Oppo K13 Turbo Pro की भारत में शुरू हुई बिक्री, जानें प्राइस, ऑफर्स
  6. Google Search में AI मोड भारत में हुआ शुरू, जानें कैसे करें उपयोग
  7. Flipkart Freedom Sale: 7 हजार रुपये सस्ता मिल रहा Google का पिक्सल फोन
  8. Lava Blaze AMOLED 2 5G vs iQOO Z10 Lite 5G vs Moto G45 5G: 15 हजार में कौन है बेस्ट
  9. घर के बाहर कूड़े का ढेर लगा है या गंदे हैं सार्वजिक शौचालय तो इस सरकारी ऐप पर करें रिपोर्ट, जल्द मिलेगा समाधान
  10. प्राइवेट टेलीकॉम कंपनियों को टक्कर देगी BSNL, सरकार से मिलेंगे 47,000 करोड़ रुपये
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.