• होम
  • विज्ञान
  • ख़बरें
  • ISRO बनाएगी मून स्‍पेस स्‍टेशन! चांद का लगाएगा चक्‍कर, मंगल जाने वाले एस्‍ट्रोनॉट्स उसमें रुक पाएंगे!

ISRO बनाएगी मून स्‍पेस स्‍टेशन! चांद का लगाएगा चक्‍कर, मंगल जाने वाले एस्‍ट्रोनॉट्स उसमें रुक पाएंगे!

पूरी योजना को तीन हिस्‍सों में बांटा गया है, जिसे एक के बाद एक पूरा किया जाएगा।

ISRO बनाएगी मून स्‍पेस स्‍टेशन! चांद का लगाएगा चक्‍कर, मंगल जाने वाले एस्‍ट्रोनॉट्स उसमें रुक पाएंगे!

चांद पर एस्‍ट्रोनॉट्स को भेजने की योजना दीर्घकालिक है और साल 2040 में शुरू हो सकती है।

ख़ास बातें
  • चंद्रमा के लिए स्‍पेस स्‍टेशन की तैयारी
  • इसरो बनाना चाहती है मून स्‍पेस स्‍टेशन
  • चांद से जुड़े प्रयोगों को पूरा करने में मिलेगी मदद
विज्ञापन
India Space Station : भारत की स्‍पेस एजेंसी इसरो (ISRO) एक ऐसे अंतरिक्ष स्‍टेशन की योजना बना रही है, जो चंद्रमा की परिक्रमा करेगा। इसके अलावा, इसरो की योजना नासा और अन्‍य अंतरिक्ष एजेंसियों की तरह चांद पर लंबे समय तक रुकने वाला सेटअप तैयार करना है। चंद्रयान-3 मिशन की सफलता से उत्‍साहित इसरो चांद पर अपने एस्‍ट्रोनॉट्स भी भेजना चााहती है। कहा जाता है कि पूरी योजना को तीन हिस्‍सों में बांटा गया है, जिसे एक के बाद एक पूरा किया जाएगा।  

टीओआई की रिपोर्ट के अनुसार, योजना के पहले हिस्‍से के तहत ऐसी टेक्‍नॉलजी को डेवलप किया जाना है, जो चांद पर मिशनों के लिए जरूरी है। जाहिर तौर पर सबसे पहले रोबोटिक मिशनों को वहां भेजा जाएगा, उसी के बाद एस्‍ट्रोनॉट्स की रवानगी होगी। 

रिपोर्ट के अनुसार, चंद्रयान-4 (Chandrayaan-4) मिशन को साल 2028 में पूरा किया जा सकता है। इसका मकसद ना सिर्फ चांद पर जाना है, बल्कि वहां से सैंपल कलेक्‍ट करके पृथ्‍वी पर वापस आना भी है। 

हालांकि चांद पर एस्‍ट्रोनॉट्स को भेजने की योजना दीर्घकालिक है और साल 2040 में शुरू हो सकती है। चांद पर लैंडिंग के बाद, इसरो एक स्‍पेस स्‍टेशन को डेवलप करने पर काम करेगी, जो चांद की परिक्रमा करेगा और एस्‍ट्रोनॉट्स अपने एक्‍सपेरिमेंट्स को पूरा कर पाएंगे। 

लूनार स्‍पेस स्‍टेशन के अलावा, इसरो भारत का पहला स्‍पेस स्‍टेशन बनाने की तैयारियों में भी जुटी है, जो पृथ्‍वी का चक्‍कर लगाएगा। यह लगभग वैसा ही होगा, जैसे इंटरनेशनल स्‍पेस स्‍टेशन और चीन का तियांगोंग स्‍पेस स्‍टेशन है। भारतीय अंतरिक्ष स्‍टेशन (BAS) नाम के प्रोजेक्‍ट का फर्स्‍ट मॉड्यूल साल 2028 में लॉन्‍च किया जा सकता है। इसके लॉन्‍च होने से उन टेक्‍नॉलजीज को टेस्‍ट करने में मदद मिलेगी, जिसकी जरूरत चंद्रमा के स्‍पेस स्‍टेशन के लिए है। 
 

मून स्‍पेस स्‍टेशन से क्‍या फायदा होगा?

रिपोर्ट के अनुसार, अगर भारत मून स्‍पेस स्‍टेशन बना लेता है, तो उसमें रहकर वैज्ञानिक चंद्रमा से जुड़ी स्‍टडीज कर पाएंगे। नई टेक्‍नॉलजीज को परख पाएंगे। यह भविष्‍य के सुदूर मिशनों के लिए लाइफ सपोर्ट सिस्‍टम के रूप में भी काम कर सकता है। मसलन- अगर वैज्ञानिकों को मंगल ग्रह पर जाना हो, तो वह मून स्‍पेस स्‍टेशन पर कुछ वक्‍त रुक पाएंगे। 
 
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

प्रेम त्रिपाठी

प्रेम त्रिपाठी Gadgets 360 में चीफ सब एडिटर हैं। 10 साल प्रिंट मीडिया ...और भी

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. Planetary Parade 2025 : आज आसमान में एकसाथ दिखेंगे 6 ग्रह, 4 बिना टेलीस्‍कोप आएंगे नजर
  2. Honor 200 5G की कीमत हुई 15 हजार रुपये कम, जल्द खरीदें सस्ता फोन
  3. ASUS ROG Phone 9 FE ग्लोबली जल्द देगा दस्तक, यहां आया नजर, जानें सबकुछ
  4. iQOO Neo 10R के स्पेसिफिकेशंस, कीमत और भारत में लॉन्च टाइमलाइन का खुलासा
  5. Honor Magic 7 फोन नए रूप में 6000mAh बैटरी, पेरिस्कोप कैमरा जैसे फीचर्स के साथ होगा लॉन्च!
  6. ट्रंप के प्रेसिडेंट बनने के बाद बढ़ सकती है MicroStrategy की बिटकॉइन खरीदने की स्पीड 
  7. Samsung Galaxy A36 5G 45W चार्जिंग सपोर्ट के साथ भारत में जल्द होगा लॉन्च! मिला BIS सर्टिफिकेशन
  8. बैटरी के प्राइस गिरने से सस्ते हो सकते हैं इलेक्ट्रिक व्हीकल्स
  9. Realme Neo 7 SE में मिलेगा 80W चार्जिंग सपोर्ट! सर्टिफिकेशन ने दिया जल्द लॉन्च का इशारा
  10. Noise Tag 1: Apple AirTag को टक्कर देने आया Noise का पोर्टेबल ब्लूटूथ-इनेबल्ड ट्रैकर, जानें कीमत और फीचर्स
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »