Flipkart फेस्टिव सीजन के मौके पर 23 सितंबर, 2025 से Flipkart Big Billion Days Sale 2025 आयोजित करने वाला है।
Photo Credit: Unsplash/Justin Lim
Flipkart फेस्टिव सीजन के मौके पर 23 सितंबर, 2025 से Flipkart Big Billion Days Sale 2025 आयोजित करने वाला है। इस सेल में प्लस मेंबर्स और ब्लैक मेंबर्स को एक दिन पहले ही एक्सेस मिलेगा। वहीं Amazon पर 23 सितंबर से Amazon Great Indian Festival Sale शुरू करने वाला है। इन दोनों सेल में स्मार्टफोन, स्मार्टवॉच, स्मार्ट टीवी, लैपटॉप, टैबलेट, ईयरबड्स और होम एप्लायंसेज पर भारी डिस्काउंट दिया जाएगा। ई-कॉमर्स साइट ने कुछ ऑफर्स का खुलासा करना भी शुरू कर दिया है। इसी के साथ लोगों को चूना लगाने के लिए साइबर फ्रॉड भी एक्टिव हो गए हैं। आइए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं।
WhatsApp जैसे कई सोशल मीडिया पर यूजर्स को सेल और डील्स से संबंधित स्क्रीनशॉट और लिंक्स शेयर किए जा रहे हैं, जिसमें लाखों वाले फोन को 20-30 हजार रुपये में देने की बात हो रही है। अक्सर यूजर्स इस तरह के स्क्रीनशॉट और लिंक्स पर भरोसे करते हैं, जिससे उन्हें फिर भारी नुकसान उठाना पड़ता है। दरअसल इन लिंक्स पर क्लिक करने पर यूजर्स को अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसी दिखने वाली वेबसाइट पर रिडायरेक्ट कर दिया जाता है, जिससे लोगों को यह पहचान नहीं आता है कि यह वेबसाइट असली है या फिर फ्रॉड के लिए खासतौर पर तैयार की गई है। आज हम इस पर बात कर रहे हैं कि कैसा आप खुद को इस प्रकार के फेक स्क्रीनशॉट्स और लिंक्स से बचा सकते हैं और सही गलत की पहचान कर सकते हैं।
अगर आपके पास किसी भी अंजान नंबर से इस प्रकार के लुभावने ऑफर्स वाले स्क्रीनशॉट या लिंक आए तो उस पर क्लिक करने से पहले आपको अमेजन और फ्लिपकार्ट की वेबसाइट पर डायरेक्ट जाकर उन ऑफर्स के बारे में जांच करनी चाहिए, जिससे आपको यह पता लगेगा कि असलियत में ऐसा कोई ऑफर लाइव है भी या नहीं। गलती से जो यूजर्स इस प्रकार के फेक स्क्रीनशॉट और लिंक्स पर भरोसा करके खरीदारी करने पहुंच जाते हैं तो उन्हें ऐसी वेबसाइट पर रिडायरेक्ट कर दिया जाता है जो कि असली जैसी दिखती है, लेकिन साइबर फ्रॉड द्वारा तैयार की गई होती है। उसके बाद जब यूजर पेमेंट करने जाते हैं तो वहां फिर सब असली जैसा नजर आता है और पेमेंट होने पर पता चलता है कि वेबसाइट नकली है और पैसों का नुकसान हो जाता है।
सेल के दौरान अक्सर फेसबुक आदि पर इस प्रकार के फेक ऑफर्स वाले फोटो, स्क्रीनशॉट और लिंक्स वायरल होते हैं जो कि खासतौर पर भोले भाले लोगों को वित्तीय नुकसान पहुंचाने के लिए तैयार किए गए होते हैं। अगर कोई लिंक आपको दूसरी वेबसाइट पर रिडायरेक्ट करता है तो आपको चेक करना है कि वह असली है या नहीं। वेबसाइट पर स्पैलिंग को चेक करना चाहिए जिसमें फेक वेबसाइट पर गलतियां नजर आ सकती हैं। इसके अलावा आप यह चेक करें कि यूआरएल की शुरुआत HTTPS से हो रही है या नहीं। वेबसाइट पूरी तरह से जानकारी प्रदान करती है या नहीं।
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