इलेक्ट्रिक वीकल्स और उनमें इस्तेमाल होने वाले उपकरणों में आग लगने की घटनाएं अब आम हो गई हैं। हालांकि सिर्फ भारत में ही ऐसे मामले सामने नहीं आ रहे। अमेरिका में बीते कुछ महीनों में इलेक्ट्रिक वीकल्स में आग लगने की कई घटनाएं सामने आई हैं, जिनमें लोगों को जान भी गंवानी पड़ी है। पिछले साल सितंबर में क्वींस में एक ई-स्कूटर से जुड़ी आग में 9 साल के लड़के की मौत हो गई थी। एक अन्य घटना में वहां एक इलेक्ट्रिक स्कूटर की बैटरी में आग लग गई, जिसमें 8 साल की एक बच्ची की मौत हो गई। इस साल अगस्त में न्यू यॉर्क सिटी के हार्लेम में एक महिला और 5 साल की बच्ची की मौत स्कूटर की बैटरी में लगी आग की वजह से हो गई। अब जो घटना सामने आई है, वह और भी बड़ी है। अमेरिका के मैनहट्टन (Manhattan) में एक हाई-राइज अपार्टमेंट बिल्डिंग में फॉल्टी बैटरी के कारण लगी आग की वजह से तीन दर्जन से अधिक लोग घायल हो गए।
रिपोर्ट्स के अनुसार, ईस्ट रिवर के पास “ईस्ट 52 स्ट्रीट” पर शनिवार सुबह एक 37 मंजिला इमारत में आग लग गई। इससे जुड़े वीडियो भी सोशल मीडिया साइट्स पर पोस्ट किए जा रहे हैं। वीडियोज में लोगों को उनके अपार्टमेंट के बाहर लटका हुआ देखा जाा सकता है। बताया जाता है कि यह आग एक लीथियम-आयन बैटरी से शुरू हुई थी।
<आग ने अपार्टमेंट के एक हिस्से को अपनी चपेट में ले लिया। स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि करीब 38 लोग इस घटना में घायल हो गए। इनमें से 5 की हालत गंभीर है।
अभी यह पता नहीं चल पाया है कि लीथियम-आयन बैटरी अपार्टमेंट में किस लिए ले जाई गई थी। कहा जा रहा है कि वह एक माइक्रो मोबिलिटी डिवाइस से जुड़ी बैटरी थी, यानी उसका संबंध इलेक्ट्रिक वीकल से था। न्यू यॉर्क का फायर डिपार्टमेंट मामले की जांच कर रहा है, लेकिन इस घटना का दायरा काफी बड़ा है। एक बैटरी की वजह से 37 मंजिला बिल्डिंग का आग की चपेट में आना और 38 लोगों का घायल हो जाना चिंता की बात है। br />
इलेक्ट्रिक वीकल्स के साथ सबसे बड़ी समस्या इनकी बैटरी में ही देखने को मिल रही है। भारत में भी इलेक्ट्रिक वीकल्स में आग लगने के कई मामले सामने आ चुके हैं। ज्यादातर मामलों में आग बैटरी वाले हिस्से से ही शुरू हुई थी। भारत में मामले में यहां के गर्म तापमान को इसकी वजह बताया जा रहा था, लेकिन अमेरिका में हुए वाकये बताते हैं कि मैन्युफैक्चर कंपनियों को सतर्कता के साथ आगे बढ़ने की जरूरत है।