• होम
  • इंटरनेट
  • ख़बरें
  • Delhi Pollution : दिवाली के बाद दिल्‍ली में ‘कृत्रिम बारिश’ कराएगी सरकार, क्‍या होता है यह? जानें

Delhi Pollution : दिवाली के बाद दिल्‍ली में ‘कृत्रिम बारिश’ कराएगी सरकार, क्‍या होता है यह? जानें

Artificial Rain in delhi : दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा है कि दिल्‍ली में कृत्रिम बारिश कराने के लिए आईआईटी-कानपुर के वैज्ञानिकों के साथ एक बैठक की गई।

Delhi Pollution : दिवाली के बाद दिल्‍ली में ‘कृत्रिम बारिश’ कराएगी सरकार, क्‍या होता है यह? जानें

Photo Credit: Unsplash

वैज्ञानिकों का कहना है कि ‘क्लाउड सीडिंग’ की कोशिश तभी की जा सकती है, जब वातावरण में नमी या बादल हों

ख़ास बातें
  • दिल्‍ली में कृत्रिम बारिश कराने की योजना
  • दिल्‍ली सरकार ने लिया फैसला
  • बढ़ते प्रदूषण के कारण लिया गया फैसला
विज्ञापन
Artificial Rain in delhi : दिल्‍ली में वायु प्रदूषण का स्‍तर सुधरने का नाम नहीं ले रहा है। राजधानी समेत एनसीआर के तमाम इलाकों में एयर क्‍वॉलिटी इंडेक्‍स (AQI) ‘खतरनाक' लेवल पर बना हुआ है। दिल्‍ली के स्‍कूलों को बंद कर दिया गया है। वायु प्रदूषण से निपटने के लिए अब सरकार राजधानी में ‘कृत्रिम बारिश' कराने की योजना बना रही है। दिवाली के बाद ‘क्लाउड सीडिंग' के जरिए ‘आर्टिफ‍िशियल रेन' की प्‍लानिंग है।     

पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा है कि दिल्‍ली में कृत्रिम बारिश कराने के लिए आईआईटी-कानपुर के वैज्ञानिकों के साथ एक बैठक की गई। वैज्ञानिकों का कहना है कि ‘क्लाउड सीडिंग' की कोशिश तभी की जा सकती है, जब वातावरण में नमी या बादल हों।

गोपाल राय ने कहा, एक्‍सपर्ट का अनुमान है कि 20-21 नवंबर के आसपास ऐसे हालात बन सकते हैं, जब दिल्‍ली के वातावरण में नमी या बादल हो सकते हैं। राय के अनुसार, उन्‍होंने वैज्ञानिकों से बृहस्पतिवार तक एक प्रस्ताव तैयार करने को कहा है। प्रस्‍ताव को सुप्रीम कोर्ट को सौंपा जाएगा। 
 

क्‍या होती है कृत्रिम बारिश

कृत्रिम बारिश कराने के लिए ‘क्लाउड सीडिंग' की मदद ली जाती है। इसमें संघनन (condensation) को बढ़ाने के लिए तमाम पदार्थों को हवा में फैलाया जाता है। इससे बार‍िश होती है। जिन पदार्थों को ‘क्लाउड सीडिंग' में इस्‍तेमाल किया जाता है, उनमें सिल्वर आयोडाइड, पोटेशियम आयोडाइड और शुष्क बर्फ (ठोस कार्बन डाइऑक्साइड) शामिल हैं। इस तकनीक को दुनिया के कई देशों में इस्‍तेमाल कियाा गया है। अमेरिका, चीन, ऑस्ट्रेलिया और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) क्‍लाउड सीडिंग को यूज कर चुके हैं। सूखे से निपटने के लिए भी क्‍लाउड सीडिंग की जाती है। 
 

ऐसे कराई जाती है कृत्रिम बारिश

एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, ‘क्लाउड सीडिंग' के घोल को हवाई जहाज की मदद से आसमान में हवा की उल्‍टी दिशा में छिड़का जाता है। घोल में मौजूद कण आसमान में पहुंचकर जम जाते हैं। इसके बाद बारिश होती है। 
 

केंद्र और राज्‍य से लेनी होगी मंजूरी

रिपोर्ट के अनुसार, गोपाल राय ने कहा है कि इस तकनीक के इस्तेमाल के लिए केंद्र और राज्य सरकारों दोनों से मंजूरी लेना समय के हिसाब से संवेदनशील मामला है। आईआईटी-कानपुर के वैज्ञानिकों ने इसी साल गोपाल राय और उनकी टीम को कृत्रिम बारिश पर एक प्रेजेंटेशन दी थी।
 
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

प्रेम त्रिपाठी

प्रेम त्रिपाठी Gadgets 360 में चीफ सब एडिटर हैं। 10 साल प्रिंट मीडिया ...और भी

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. Facebook Messenger हुआ जबरदस्त, HD वीडियो कॉल के साथ AI बैकग्राउंड जैसे फीचर्स आए
  2. 108MP कैमरा के साथ लॉन्‍च होगा HMD Fusion, Amazon पर हुआ लिस्‍ट, जानें प्रमुख फीचर्स
  3. 200MP कैमरा वाली Redmi Note 14 5G स्‍मार्टफोन सीरीज इस दिन होगी भारत में लॉन्‍च, जानें
  4. OPPO Find X8, Find X8 Pro हुए Dimensity 9400 प्रोसेसर, AMOLED डिस्प्ले के साथ लॉन्च, जानें भारत में कीमत
  5. पृथ्वी का 'दूसरा चांद' होने वाला है गायब! 30 साल बाद फिर लौटेगा ...
  6. Elon Musk ने अपने Starship रॉकेट में क्यों भेजा केला? दिलचस्प है वजह, जानें
  7. WhatsApp लाया धांसू फीचर! Status अपडेट में अब ग्रुप को भी कर सकेंगे मेंशन, ऐसे करेगा काम
  8. Google नहीं ला रहा Pixel Tablet 3, रिपोर्ट में हुआ खुलासा!
  9. Apple यूजर्स अलर्ट! कंपनी ने जारी किया इमरजेंसी सिक्योरिटी अपडेट, जल्द करें डाउनलोड, ये रहे स्टेप्स
  10. भारत में Apple के iPhone की दमदार सेल्स, रेवेन्यू बढ़कर 67,100 करोड़ रुपये से ज्यादा
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2024. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »