Pink Moon 2024 : आज चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) है। विज्ञान में इसे पिंक मून (Pink Moon) के नाम से पॉपुलैरिटी मिली है। शाम होते ही पूर्णिमा की चांद भारत समेत कई देशों में देखा जा सकेगा। दिलचस्प है कि नाम में पिंक मून होने के बावजूद आज पूर्णिमा का चांद गुलाबी नहीं दिखेगा। यह नाम अमेरिका के पूर्वी इलाके में पाए जाने वाले एक पौधे 'हर्ब मास पिंक' जिसे Phlox Subulata भी कहते हैं, उसके नाम पर रखा गया है।
रिपोर्ट्स के
अनुसार, आज की पूर्णिमा एक सुपरमून (Super Moon) है। सुपरमून उस स्थिति को कहा जाता है, जब चंद्रमा की कक्षा पृथ्वी के सबसे करीब होती है। इसका मतलब है कि आज चंद्रमा पृथ्वी की कक्षा में अपने निकटतम बिंदु पेरिगी पर पहुंच जाएगा। इसकी वजह से वह सामान्य से थोड़ा बड़ा दिखाई देगा।
रिपोर्टों के अनुसार, भारत में पिंक मून की शुरुआत सुबह 3.20 बजे से हो गई है। यह 24 अप्रैल की सुबह 5.20 बजे तक होगी। अब से थोड़ी देर बाद शाम होते ही भारत में पिंक मून दिखाई देने लगेगा। गौरतबल है कि आज हनुमान जयंती (Hanuman Jayanti) भी मनाई जा रही है, इसलिए हिंदू धर्म में इसका खास महत्व है। पूर्णिमा और हनुमान जयंती एकसाथ आने के कारण मंदिरों में भक्तों की भीड़ देखी जा रही है।
बहरहाल, विज्ञान के नजरिए से बात करें तो पिंक मून को लोग नग्न आंखों से देख सकते हैं। अगर आपके पास दूरबीन या अच्छा टेलीस्कोप है तो पिंक मून और बेहतर दिखाई देगा। अगर आपके इलाके में मौसम साफ है तो पिंक मून को अब से थोड़ी देर बाद आप देख पाएंगे।
पूर्णिमा का चांद भारत समेत अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, फ्रांस आदि देशों में नजर आएगा। पिंक मून नाम अमेरिकी कल्चर से आया है। अमेरिका में हर पूर्णिमा को किसी ना किसी नाम से पुकारा जाता है जैसे- वूल्फ मून। अप्रैल की पूर्णिमा को लोकल नाम भी मिले हैं। अल्गोंक्विन लोग इसे ‘ब्रेकिंग आइस मून' कहकर पुकारते हैं, क्योंकि इस सीजन में बर्फ पिघलने लगती है।