SpaceX ने अपनी सैटेलाइट बेस्ड इंटरनेट सर्विस Starlink के लिए 28 नए सैटेलाइट्स अंतरिक्ष में छोड़े हैं। कंपनी ने गुरूवार को ये सैटेलाइट्स कक्षा में रॉकेट के माध्यम से पहुंचा दिए जिसके बाद कंपनी का ग्लोबल ब्रॉडबैंड नेटवर्क अब पहले से और बड़ा हो जाएगा। सैटेलाइट लोअर-अर्थ ऑर्बिट (LEO) में छोड़े गए हैं। कंपनी ने मिशन को Starlink 6-75 नाम दिया था जो कि अब सफलतापूर्वक पूरा हो गया है। आइए जानते हैं अब क्या स्थिति होगी SpaceX की Starlink सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस की।
SpaceX कंपनी
Starlink सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस उपलब्ध करवाती है जिसे कंपनी लगातार एक्सपेंड कर रही है। इसके सैटेलाइट्स की संख्या लगातार बढ़ रही है। कंपनी ने गुरूवार को स्टारलिंक सैटेलाइट के तारामंडल में 28 नए मेंबर जोड़ दिए। कंपनी के 7200 सैटेलाइट्स पहले से ही Starlink सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस उपलब्ध करवाने के लिए पृथ्वी की निचली कक्षा में तैनात हैं। सैटेलाइट बेस्ड इंटरनेट बिना वायर्ड कनेक्शन के पृथ्वी के दूर-दराज और दुर्गम हिस्सों में भी पहुंच सकता है। इसलिए SpaceX के लिए उसके सैटेलाइट्स लॉन्च का हरेक मिशन बहुत महत्वपूर्ण होता है।
Starlink के लिए ये नए सैटेलाट्स फ्लोरिडा में स्थित Cape Canaveral Space Force Station के Launch Complex-40 से लॉन्च किए गए। इन्हें Falcon 9 Rocket अंतरिक्ष में लेकर गया। कंपनी का मकसद पृथ्वी के ध्रुवीय क्षेत्रों को छोड़ दुनियाभर में सुपरफास्ट सैटेलाइट बेस्ड इंटरनेट उपलब्ध करवाना है। Space.com के अनुसार, रॉकेट के 9 मर्लिन इंजन लिफ्टऑफ के 2.5 मिनट बाद शट डाउन कर दिए गए जिसके बाद स्टेज सैपरेशन हुआ।
फर्स्ट स्टेज में बूस्टर B1080 लिफ्टऑफ के 8 मिनट बाद नीचे अटलांटिक महासागर में लौट आया। बूस्टर B1080 के लिए यह 18वीं सफल फ्लाइट थी और Starlink मिशन के लिए 12वीं। सेकंड स्टेज फिर पेलोड ऑर्बिट के लिए आगे बढ़ती रही ताकि यह सैटेलाइट्स को ऑर्बिट में तैनात कर सके। फिर लिफ्टऑफ के 1 घंटे बाद सेकंड स्टेज ने अपना लक्ष्य पूरा किया और 28 सैटेलाइट्स को तैनात कर दिया। अगले कुछ दिनों में ही ये सैटेलाइट अपने ऑपरेशनल स्लॉट्स में जाकर मिल जाएंगे।
यह SpaceX का इस साल का 51वां स्टारलिंक मिशन है और कंपनी का 2025 का 34वां Falcon 9 लॉन्च है। कंपनी धीरे-धीरे पृथ्वी के हर कोने में हाई-स्पीड इंटरनेट उपलब्ध करवाने के अपने मिशन को हासिल करने के और करीब पहुंच रही है।