मार्केट वैल्यू के लिहाज से सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी Bitcoin के प्राइस में बुधवार को 0.60 प्रतिशत की तेजी थी। पिछले कुछ दिनों से बिटकॉइन ने 34,000 डॉलर से अधिक का लेवल बरकरार रखा है। इसका प्राइस 34,397 डॉलर पर था। पिछले एक दिन में इसकी वैल्यू लगभग 127 डॉलर बढ़ी है।
बिटकॉइन के बाद दूसरी सबसे अधिक प्राइस वाली क्रिप्टोकरेंसी Ether का प्राइस 0.57 प्रतिशत बढ़कर 1,809 डॉलर पर था। इसके अलावा तेजी वाली अन्य क्रिप्टोकरेंसीज में Solana, USD Coin, Stellar और Near Protocol शामिल थे। लगभग दो वर्ष पहले
बिटकॉइन ने लगभग 68,000 डॉलर और इथर ने लगभग 4,815 डॉलर का उच्च स्तर बनाया था। इसके बाद से इन दोनों क्रिप्टोकरेंसीज के प्राइस में भारी गिरावट आई थी। पिछले एक दिन में क्रिप्टो का मार्केट कैपिलाइजेशन 0.13 प्रतिशत बढ़कर लगभग 1.27 लाख करोड़ डॉलर पर था।
CoinDCX की रिसर्च टीम ने Gadgets360 को बताया, "पिछले महीने बिटकॉइन में 29 प्रतिशत की तेजी आई है। इसका बड़ा कारण बिटकॉइन स्पॉट ETF को स्वीकृति मिलने की संभावना है। सोशल मीडिया पर बिटकॉइन से जुड़ी पोस्ट्स की संख्या तेजी से बढ़ी है और यह एक पॉजिटिव ट्रेंड का संकेत है। बिटकॉइन में इनवेस्टर्स और ट्रेडर्स की दिलचस्पी बढ़ रही है। इसके साथ ही Ether में भी मजबूती आ रही है।" CoinSwitch Ventures के इनवेस्टमेंट्स लीड, Parth Chaturvedi ने कहा, "मार्केट्स पर फेडरल रिजर्व की मीटिंग का असर पड़ सकता है। इंटरेस्ट रेट में बदलाव से क्रिप्टो मार्केट की दिशा भी बदल सकती है। अमेरिका में बिटकॉइन स्पॉट ETF को लेकर इनवेस्टर्स उत्साहित हैं। इसके लिए आवेदनों पर SEC की ओर से जल्द कोई प्रतिक्रिया मिल सकती है।"
हाल ही में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने क्रिप्टो सेगमेंट के लिए रूल्स बनाने पर जोर दिया था। उनका कहना था कि टेक्नोलॉजी के डिवेलपमेंट के साथ रफ्तार बरकरार रखने की जरूरत है। इससे पहले फाइनेंस मिनिस्ट्री और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने भी क्रिप्टो के लिए रूल्स बनाने का पक्ष लिया था। RBI का मानना है कि
क्रिप्टोकरेंसीज के साथ कोई वैल्यू नहीं जुड़ी और इस वजह से इस सेगमेंट पर बैन लगाया जाना चाहिए। कुछ देशों में रेगुलेटर्स क्रिप्टो के लिए रूल्स बना रहे हैं। इससे इस मार्केट में स्कैम के मामलों पर लगाम लग सकती है और इनवेस्टर्स का भरोसा भी बढ़ सकता है।