सैमसंग ने मंगलावर को अपना गैलेक्सी नोट7 स्मार्टफोन
लॉन्च किया था। आइरिस स्कैनर फीचर इस स्मार्टफोन को सैमसंग के दूसरे स्मार्टफोन से खास बनाता है। इस फीचर को देने का उद्देश्य एक स्मार्टफोन को अनलॉक करने के लिए ज्यादा सुविधा व सुरक्षा मुहैया कराना है। अब सैमसंग मोबाइल डिवीज़न के प्रेसीडेंट डीजे को ने कहा है कि भविष्य में इस फीचर को कंपनी के दूसरे मिड रेंज स्मार्टफोन में भी दिया जा सकता है।
कंपनी ने स्पष्ट किया कि कंपनी को आइरिस स्कैनिंग टेक्नोलॉजी को डेवलेप करने में तीन साल लगे। इसके साथ ही उन्होंने दावा किया कि फिलहाल उपलब्ध सभी सिक्योरिटी सिस्टम में आइरिस स्कैनिंग सबसे सुरक्षित है। इसके अलावा कंपनी ने इसे बनाने में आए खर्चे के बारे में कहा कि इसे अफॉर्डेबल डिवाइस में देने की संभावना भी है। ज़ेडडीनेट के साथ बातचीत में
कहा कि लगातार कीमत में कटौती के जरिए इस फीचर को 'मिड रेंज मॉडल में दिया जा सकता है'
न्यूयॉर्क में
गैलेक्सी नोट7 के लॉन्च इवेंट में को ने कहा, ''हमने फ्लैगशिप स्मार्टफोन में आइरिस स्कैनर को सिर्फ 'अनलॉक' करने के लिए ही नहीं दिया है। हमने बहुत दूर की सोचते हुए हम थर्ड पार्टी और एपीआई के जरिए इसे ऐप के साथ कनेक्ट करना चाहते हैं। मोबाइल बैंकिंग के लिए, हम बड़े ट्रांजेक्शन के लिए आइरिस स्कैनिंग को लागू करने की सोच रहे हैं और कुछ देशों में हम इस बारे में पहले से ही बात कर रहे हैं।''
इसके अलावा को ने बताया कि आइरिस स्कैनर चश्मे के साथ भी काम करता है। को ने यह भी बताया कि यह फीचर किस तरह एंड्रॉयड प्लेटफॉर्म को ज्यादा सुरक्षित बनाता है। उनके मुताबिक, ''ऐसा माना जाता है कि अपने प्रतिद्वंदी की तुलना में एंड्रॉयड कम सुरक्षत है और हम सॉफ्टवेयर सिक्योरिटी बढ़ाकर इस छवि को खत्म करना चाहते हैं। ''
सैमसंग की सीधी प्रतिद्वंदी ऐप्पल ने अपने ऑपरेटिंग सिस्टम में सुरक्षा को लेकर कई बड़े सुधार किए हैं। जबकि एंड्रॉयड को लगातार सुरक्षा के मामले में आलोचना का शिकार होना पड़ा है। अब यह साफ तौर पर देखा जा सकता है कि सैमसंग क्यूपर्टिनो की ऐप्पल से इस मामले में तेजी से आगे निकलने की कोशिश कर रही है।