वेदर बैलून की जगह लेंगे ड्रोन, मात्र 40 मिनट में एकत्रित होगा डाटा और ज्यादा सटीक होगी मौसम की भविष्यवाणी

इन वेदर बैलून के जरिए सेंसर भेजकर डाटा एकत्रित किया जाता है। रेडियोसॉन्ड (Radiosonde) में लगे सेंसर जो कि वेदर बैलून द्वारा ले जाने वाला एक टेलीमेट्री इंस्ट्रूमेंट है।

विज्ञापन
साजन चौहान, अपडेटेड: 8 जून 2022 19:15 IST
ख़ास बातें
  • भारत वायुमंडलीय डाटा एकत्रित के लिए ड्रोन तैनात करने के लिए तैयार है।
  • इन वेदर बैलून के जरिए सेंसर भेजकर डाटा एकत्रित किया जाता है।
  • वेदर बैलून और रेडियोसॉन्ड को नहीं पाया जा सकता है।

ड्रोन वेदर बैलून की जगह लेंगे।

Photo Credit: Reuters

भारतीय वायुमंडलीय डाटा एकत्रित करने के लिए ड्रोन तैनात करने के लिए तैयार की जा रही है। मौजूदा समय में देश भर में कम से कम 550 स्थानों से हर दिन दो बार वेदर बैलून जारी किए जाते हैं। इन वेदर बैलून के जरिए सेंसर भेजकर डाटा एकत्रित किया जाता है। रेडियोसॉन्ड (Radiosonde) में लगे सेंसर जो कि वेदर बैलून द्वारा ले जाने वाला एक टेलीमेट्री इंस्ट्रूमेंट है। वह वायुमंडलीय दबाव, तापमान, हवा की दिशा और गति को रिकॉर्ड करने का काम करता है। आपको बता दें कि हाइड्रोजन से भरा वैदर बलून 12 किमी की ऊंचाई तक जा सकता है और रेडियो सिग्नल द्वारा डाटा को ग्राउंड रिसीवर तक पहुंचाता है। हालांकि वेदर बैलून और रेडियोसॉन्ड को नहीं पाया जा सकता है, क्योंकि वे उन मौसम स्टेशन्स से दूर चले जाते हैं जो उन्हें वातावरण में छोड़ते हैं।

अधिक जानकारी देते हुए पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के सचिव एम रविचंद्रन ने पीटीआई को बताया कि "हम अब इस वायुमंडलीय डाटा को एकत्रित करने के लिए ड्रोन का इस्तेमाल करने की संभावना खोज रहे हैं। जो कि मौसम के बारे में भविष्यवाणी करने के लिए बेहद जरूरी है।" कई स्टडीज से पता चल है कि मौसम का डाटा एकत्रित करने के लिए सेंसर से लैस खास ड्रोन सामान्य वेदर बैलून के लिए एक सही विकल्प हो सकते हैं। इंडिया मेट्रोलॉजिकल डिपार्टमेंट (IMD) मौसम स्टेशन के जरिए भारत में 550 स्थानों से मौसम के डाटा को एकत्र करता है और रेडियोसॉन्ड अवलोकनों का इस्तेमाल करता है जिन्हें मौसम का पूर्वानुमान जारी करने के लिए पूर्वानुमान मॉडल में फीड करना होता है।

वेदर बैलून पर ड्रोन का एक सबसे बड़ा फायदा यह है, क्योंकि उन्हें कंट्रोल कर सकते हैं। वह कम और अधिक ऊंचाई पर उड़ने के लिए तैयार किया जाता है। IMD का प्लान है कि 5 किमी की ऊंचाई तक के डाटा को एकत्रित करने के लिए ड्रोन का इस्तेमाल करेंगे और पुराने वेदर बैलून का इस्तेमाल करके एकत्रित किए गए डाटा के साथ तुलना करेंगे। इन्होंने मौसम के अवलोकन के लिए ड्रोन टेक्नोलॉजी की क्षमता को दिखाने के लिए शामिल होने के लिए इंडस्ट्री और एकेडमिया को आमंत्रित किया है। वेदर बैलून आमतौर पर उड़ने के लिए दो घंटे तक चलते हैं, आईएमडी 40 मिनट की उड़ान के दौरान ड्रोन का इस्तेमाल करके डाटा एकत्रित किया जा सकता है।
 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

ये भी पढ़े: Drone, Radiosonde, Weather Ballons

साजन चौहान Gadgets 360 में सीनियर सब ...और भी

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. OnePlus 13s Launched in India: 12GB रैम, 50MP कैमरा और फ्लैगशिप प्रोसेसर वाला कॉम्पैक्ट स्मार्टफोन हुआ भारत में लॉन्च, जानें कीमत
  2. Oppo की Reno 14 के लॉन्च की तैयारी, NBTC साइट पर हुई लिस्टिंग
  3. Jio मात्र 51 रुपये में दे रहा अनिलिमिटेड 5G डाटा, महीने भर की वैधता के साथ
#ताज़ा ख़बरें
  1. Mahindra की XEV 9e और BE 6 इलेक्ट्रिक SUVs को जोरदार रिस्पॉन्स, 10,000 यूनिट्स की डिलीवरी
  2. भारत में जल्द सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस लॉन्च कर सकती है Elon Musk की Starlink
  3. AI का इस्तेमाल बढ़ने के बावजूद इंजीनियर्स की हायरिंग जारी रखेगी Google
  4. Oppo की Reno 14 के लॉन्च की तैयारी, NBTC साइट पर हुई लिस्टिंग
  5. Jio ने 5G कवरेज, क्वालिटी और अपलोड स्पीड में मारी बाजी, Airtel की डाउनलोड स्पीड पर पकड़ बरकरार!
  6. Nintendo Switch 2 में मिला 7.9-इंच डिस्प्ले, 30 गेम्स का सपोर्ट और 120Hz रिफ्रेश रेट, इस कीमत पर हुआ लॉन्च
  7. Xiaomi 16 में मिल सकता है 6.9 इंच डिस्प्ले, 7,000mAh की बैटरी
  8. Redmi Pad 2 भारत में 18 जून को होगा लॉन्च, डिजाइन और स्पेसिफिकेशंस हुए टीज
  9. Tecno Pova Curve 5G की भारत में शुरू हुई बिक्री, जानें प्राइस, ऑफर्स
  10. Upcoming Smartphones (June 2025): जून में लॉन्च होंगे Vivo, Poco और OnePlus के ये 3 स्मार्टफोन!
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.