मंगल ग्रह पर सबसे बड़ा भूकंप खोजने वाला Nasa का इनसाइट लैंडर जल्‍द हो सकता है खत्‍म

अंतरिक्ष एजेंसी ने मंगलवार को कहा कि वह इस स्‍पेसक्राफ्ट के भूकंपमापी का इस्तेमाल तब तक करती रहेगा, जब तक कि जुलाई में इसकी बिजली खत्म नहीं हो जाती।

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गैजेट्स 360 स्टाफ, अपडेटेड: 19 मई 2022 12:02 IST
ख़ास बातें
  • धूल की वजह से लैंडर अपनी बिजली खो रहा है
  • हालांकि इसे साल के आखिर तक मॉनिटर किया जाता रहेगा
  • 2018 से सर्विस दे रहा है इनसाइट लैंडर

साल 2018 में मंगल ग्रह पर उतरने के बाद से इनसाइट ने 1,300 से ज्‍यादा भूकंपों का वहां पता लगाया है।

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा (Nasa) के मंगल मिशन को झटका लगा है। उसका एक स्‍पेसक्राफ्ट बर्बाद होने की ओर है। नासा के इनसाइट (Insight) लैंडर पर जमा हुई धूल की वजह से लैंडर अपनी बिजली खो रहा है। अंतरिक्ष एजेंसी ने मंगलवार को कहा कि वह इस स्‍पेसक्राफ्ट के भूकंपमापी का इस्तेमाल तब तक करती रहेगा, जब तक कि जुलाई में इसकी बिजली खत्म नहीं हो जाती। नासा ने बताया है कि फ्लाइट कंट्रोलर सब कुछ बंद करने से पहले इस साल के आखिर तक इनसाइट को मॉनिटर करेंगे। 

साल 2018 में मंगल ग्रह पर उतरने के बाद से इनसाइट ने 1,300 से ज्‍यादा भूकंपों का वहां पता लगाया है। हाल ही में इसने मंगल ग्रह पर आए अब तक के सबसे बड़े भूकंप को रिकॉर्ड किया था, जिसकी तीव्रता 5 मापी गई थी। यह नासा का दूसरा मंगल ग्रह लैंडर होगा, जो धूल में खो गया है और जल्‍द बर्बाद हो सकता है। 

हालांकि मंगल ग्रह की सतह पर नासा के दो और स्‍पेसक्राफ्ट अभी काम कर रहे हैं। इनमें शामिल हैं- रोवर्स क्यूरियोसिटी और पर्सिवरेंस। इनसाइट को लेकर इस मिशन की डेप्‍युटी प्रोजेक्‍ट मैनेजर कात्या जमोरा गार्सिया ने कहा है कि शुरू में लैंडर में एक घंटे 40 मिनट के लिए इलेक्ट्रिक ओवन को बिजली देता था। अब यह वक्‍त घटकर 10 मिनट रह गया है। इनसाइट की टीम ने अनुमान लगाया था कि लैंडर में ज्‍यादा धूल होने पर हवा का झोंका सोलर पैनलों को साफ कर सकता है, लेकिन ऐसा अभी नहीं हो सका है। 

नासा की जेट प्रोपल्शन लेबोरेटरी के प्रमुख साइंटिस्‍ट ब्रूस बैनर्ट ने कहा कि इनसाइट में आई परेशानी से हमारी टीम को हकीकत में बहुत ज्‍यादा निराशा नहीं हुई है। अभी हम इस स्‍पेसक्राफ्ट को ऑपरेट करने पर फोकस कर रहे हैं। 

इनसाइट लैंडर की कुछ उपलब्‍धियों पर बात करें, तो इसने अप्रैल महीने में मंगल ग्रह पर उगते सूरज यानी सनराइज का दृश्य अपने कैमरे में कैद किया था। यह नजारा इतना खूबसूरत है कि नजरें हट न पाएं। इनसाइट नासा का पहला ऐसा मिशन है जिसके जरिए वह इस लाल ग्रह की भीतरी स्टडी कर रहा है। इसमें ग्रह की तीनों परतों, क्रस्ट (Crust), मेंटल (Mantle) और कोर (Core) शामिल हैं। InSight लैंडर 2018 से ग्रह का अध्य्यन कर रहा है। यह मंगल पर भूकंपों और ग्रह के भीतरी हिस्से का अध्ययन भी करता है। 
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नवंबर 2018 में यह मंगल के Elysium Planitia क्षेत्र में उतरा था। इसने मंगल का एक साल का प्राइमरी मिशन पूरा कर लिया है जो धरती पर 687 दिनों के बराबर है। फ‍िलहाल यह लाल ग्रह की फोटो कलेक्ट कर रहा है। 
 
 

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ये भी पढ़े: NASA, InSight lander, Mars, Power, dusty demise, Solar Panels

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