2035 तक खत्‍म हो जाएगा लीप सेकंड, अब नहीं बढ़ेगा टाइम 1 सेकंड आगे, जानें पूरा मामला

Leap Second : 18 नवंबर को पेरिस में जनरल कॉन्‍फ्रेंस ऑन वेट एंड मेश़र्ज़ (CGPM) में लीप सेकंड को स्‍क्रैप करने पर फैसला लिया गया।

विज्ञापन
Written by प्रेम त्रिपाठी, Edited by आकाश आनंद, अपडेटेड: 24 नवंबर 2022 19:52 IST
ख़ास बातें
  • 18 नवंबर को हुई मीटिंग में लिया गया फैसला
  • दुनिया की बड़ी टेक कंपनियों को मिलेगी राहत
  • एक लीप सेकंड UTC के लिए सेकंड का समायोजन है

Leap Second : पहली नजर में यह फैसला भले मामूली नजर आए, लेकिन टेक्‍नॉलजी फ्रेंडली होती दुनिया के सामने आने वाली बड़ी मुश्किलों को समाधान मिल गया है।

लीप सेकंड (leap seconds) जिसके तहत धरती के समय को 1 सेकंड आगे बढ़ाया जाता है, यह प्रैक्टिस अब खत्‍म हो जाएगी। दुनिया भर के वैज्ञानिकों और सरकारों के प्रति‍निधियों ने फैसला किया है कि साल 2035 तक ऑफ‍िशियल घड़‍ियों में लीप सेकंड का सिस्‍टम खत्‍म कर दिया जाएगा। 18 नवंबर को पेरिस में जनरल कॉन्‍फ्रेंस ऑन वेट एंड मेश़र्ज़ (CGPM) में लीप सेकंड को स्‍क्रैप करने पर फैसला लिया गया। पहली नजर में यह फैसला भले मामूली नजर आए, लेकिन टेक्‍नॉलजी फ्रेंडली होती दुनिया के सामने आने वाली बड़ी मुश्किलों को समाधान मिल गया है।  
 

क्‍या होता है लीप सेकंड 

एक लीप सेकंड UTC (Universal Time Coordinated) के लिए एक सेकंड का समायोजन है। आसान भाषा में समझें, तो इंटरनेशनल एटॉमिक टाइम घड़ी के जरिए समय को मापने और पृथ्वी के चक्कर लगाने के आधार पर समय मापने के दौरान आने वाले फर्क को खत्‍म करने के लिए जोड़ा या घटाया जाने वाला सेकंड ही लीप सेकंड कहलाता है। पहली बार यह थ्‍योरी साल 1972 में सामने आई। तब से ही लीप सेकंड को जोड़ा जा रहा है। जून या दिसंबर में सेकंड को जोड़ा जाता है। 

वैज्ञानिकों का तर्क रहा है कि लीप ईयर के नियम के तहत हर 4 साल पर कैलेंडर में एक अतिरिक्त दिन जोड़ा जाता है, लेकिन लीप सेकंड के मामले में ऐसी गणना नहीं की जा सकती। यह तय नहीं किया जा सकता कि किस अवधि के बाद लीप सेकंड को जोड़ा जाए। 
 

इस प्रैक्टिस को क्‍यों किया जा रहा खत्‍म? 

इसकी सबसे बड़ी वजह है कि पृथ्वी की कक्षा का सटीक अनुमान नहीं लगाया जा सकता। साल 2020 के बाद से कथित तौर पर पृथ्वी का घूर्णन तेज हो रहा है। इस वजह से भविष्य में लीप सेकेंड को जोड़ने के बजाए हटाना पड़ सकता है।

तमाम टेक कंपनियां भी इसे हटाने की मांग कर रही थीं। इनमें फेसबुक की पैरंट कंपनी मेटा (Meta) भी शामिल है। ए‍क ब्‍लॉग में मेटा ने बताया था कि नए लीप सेकंड के दखल से उसके सर्वर साल 2012 में 40 मिनट तक डाउन रहे थे। मेटा के अलावा क्‍लाउडफेर ने भी इस परेशानी को झेला था, जब नए लीप सेकंड की वजह साल 2017 में उसकी DNS सर्विस डाउन हो गई थी। यह सब हुआ क्‍योंकि कंप्‍यूटर नेटवर्क को लीप सेकंड के हिसाब से तैयार करना पड़ता है। बहरहाल, अब यह मुश्किल खत्‍म हो जाएगी।
 

 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. OnePlus 15R में मिलेगी 7400mAh की बड़ी बैटरी, 17 दिसंबर को होगा भारत में लॉन्च
  2. फोन में पावर बैंक! Honor X80 में होगी 10,000mAh बैटरी, लीक में खुलासा
  3. Flipkart Buy Buy 2025 Sale: Rs 24 हजार सस्ता मिल रहा Samsung Galaxy S25 Ultra, फोन पर सबसे धांसू ऑफर
  4. नासा की चेतावनी! 4 एस्टरॉयड आज होंगे पृथ्वी के करीब, जानें कितना है खतरा
#ताज़ा ख़बरें
  1. फोन में पावर बैंक! Honor X80 में होगी 10,000mAh बैटरी, लीक में खुलासा
  2. Flipkart Buy Buy 2025 Sale: Rs 24 हजार सस्ता मिल रहा Samsung Galaxy S25 Ultra, फोन पर सबसे धांसू ऑफर
  3. नासा की चेतावनी! 4 एस्टरॉयड आज होंगे पृथ्वी के करीब, जानें कितना है खतरा
  4. एस्टरॉयड में चीनी! NASA की नई खोज ने चौंकाया
  5. Realme P4x 5G vs Vivo T4x 5G: मिडरेंज में कौन सा फोन है बेस्ट? जानें यहां
  6. सावधान! मोबाइल में खतरनाक वायरस, चुटकी में बैंक अकाउंट कर सकता है खाली
  7. OnePlus 15R में मिलेगी 7400mAh की बड़ी बैटरी, 17 दिसंबर को होगा भारत में लॉन्च
  8. Motorola Edge 70 जल्द होगा भारत में लॉन्च, 6.67 इंच डिस्प्ले, ट्रिपल रियर कैमरा यूनिट
  9. Indigo की फ्लाइट हुई कैंसल, तो कपल ने ऑनलाइन अटैंड कर लिया अपनी ही शादी का रिसेप्शन!
  10. 10 मिनट में घर बैठे मिलेंगे Samsung के टैबलेट, स्मार्टवॉच, चार्जर भी! कंपनी ने बढ़ाई सर्विस
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.