4 करोड़ साल पहले यहां बहती थी 1 हजार किलोमीटर लंबी नदी!

3.4 करोड़ से 4.4 करोड़ साल पहले Eocene नामक युग में धरती के वातावरण में सबसे बड़ा बदलाव आया था।

4 करोड़ साल पहले यहां बहती थी 1 हजार किलोमीटर लंबी नदी!

यह खोज पृथ्वी के मौसम में होने वाले बदलावों के संबंध में इतिहास की सबसे बड़ी खोज कही जा रही है।

ख़ास बातें
  • 4 करोड़ साल पुरानी नदी जल प्रवाह प्रणाली सामने आई है।
  • यह रीवर सिस्टम बर्फ की चादर के नीचे ढका हुआ मिला है।
  • खोज को Science Advances नामक जर्नल में प्रकाशित किया गया है।
विज्ञापन
भू-वैज्ञानिकों को पश्चिमी अंटार्कटिका में एक ऐसी खोज हाथ लगी है जिसने दुनिया को चौंका दिया है। यहां पर 4 करोड़ साल पुरानी नदी जल प्रवाह प्रणाली सामने आई है। यह रीवर सिस्टम बर्फ की चादर के नीचे ढका हुआ मिला है। वैज्ञानिक कह रहे हैं कि यहां करोड़ों साल पहले लगभग 1 हजार किलोमीटर लंबी नदी बहती थी। चौंकाने वाली बात यह है कि उस समय धरती पर इतना बड़ा क्लाइमेट चेंज आया था जिसने ग्रह की रूप-रेखा बदल कर रख दी थी। 

यह खोज पृथ्वी के मौसम में होने वाले बदलावों के संबंध में इतिहास की सबसे बड़ी खोज कही जा रही है। खोज को Science Advances नामक जर्नल में (via) प्रकाशित किया गया है। जर्मनी में Alfred Wegener Institute Helmholtz Center for Polar and Marine Research की ओर से स्टडी के सह-लेखक Johann Klages के अनुसार, अगर धरती पर क्लाइमेट चेंज के अधिकतम प्रभाव को समझना है तो हमें इतिहास में हो चुकी इससे भी बड़ी घटनाओं से सीखना चाहिए। 

3.4 करोड़ से 4.4 करोड़ साल पहले Eocene नामक युग में धरती के वातावरण में सबसे बड़ा बदलाव आया था। उस वक्त कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा वर्तमान समय से भी दोगुनी बताई जा रही है। वैज्ञानिक कह रहे हैं कि अगर आने वाले 150-200 साल तक ग्रीन हाउस गैसों के कारण कार्बन का स्तर ऐसे ही बढ़ता रहा तब जाकर उस समय के जितना कार्बन डाईऑक्साइड धरती पर इकट्ठा हो सकेगा। 

4 करोड़ साल पहले हुए क्लाइमेट चेंज के बाद जब धीरे-धीरे जब कार्बन का स्तर कम होने लगा तो पृथ्वी पर ग्लेशियरों का निर्माण होने लगा। वर्तमान में पश्चिमी अंटार्कटिका का अधिकतर भाग बर्फ में दबा हुआ है। इसलिए इसके नीचे दबी चट्टानों के बारे में जानकारी जुटाना मुश्किल है। बिना चट्टानों के अध्य्यन किए उस समय के वातावरण का अंदाजा लगाना मुश्किल है।  

2017 में भी Johann Klages और उनकी टीम इसी तरह के अभियान पर निकली थी। समुद्रतल में 100 फीट की गहराई तक ड्रिल करने के बाद टीम को दो अलग-अलग युगों की चट्टानों के सबूत मिले थे। जब रेडियोएक्टिव एलीमेंट्स की हाफ लाइफ मापी गई तो पता चला निचले अवशेष 8.5 करोड़ साल पुराने थे। ये मध्य क्रिटेशियस पीरियड से संबंधित बताए गए थे।
Comments

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

हेमन्त कुमार

हेमन्त कुमार Gadgets 360 में सीनियर सब-एडिटर हैं और विभिन्न प्रकार के ...और भी

Share on Facebook Gadgets360 Twitter ShareTweet Share Snapchat Reddit आपकी राय google-newsGoogle News

विज्ञापन

Follow Us

विज्ञापन

#ताज़ा ख़बरें
  1. ट्रंप की जीत से टेस्ला के चीफ Elon Musk को जोरदार फायदा, वेल्थ हुई 334 अरब डॉलर से ज्यादा
  2. आधार कार्ड में नाम बदलवाने के लिए नियम हुए सख्त! अब करना होगा यह काम
  3. Vivo X200 सीरीज का भारत में लॉन्च कंफर्म! टीजर में दिखा फोन के कैमरा का दम
  4. Nubia V70 Design फोन लॉन्च हुआ 4GB रैम, 50MP कैमरा, 5000mAh बैटरी के साथ, जानें कीमत
  5. Oppo Reno 13 सीरीज में होगा मीडियाटेक का नया Dimensity 8350 प्रोसेसर, 16GB रैम
  6. नासा ने बनाया खास रोबोट, बृहस्पति के चांद पर बर्फ के नीचे महासागर में लगाएगा गोता!
  7. Reliance Jio ने बेचे 13.5 करोड़ JioPhone! अब सस्ते 5G फोन लाने की तैयारी
  8. Redmi Note 13 5G फोन को Rs 13,719 में खरीदने का मौका! 108MP कैमरा, 5000mAh बैटरी जैसे धांसू फीचर्स, जानें ऑफर
  9. मात्र 15K से भी सस्ता मिल रहा OnePlus Nord CE 3 Lite 5G, ये है पूरी डील
  10. भारत में लॉन्च से पहले लीक हुए Vivo X200 सीरीज के कलर ऑप्शन, इन स्पेसिफिकेशन्स के साथ आएंगे स्मार्टफोन
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2024. All rights reserved.
ट्रेंडिंग प्रॉडक्ट्स »
लेटेस्ट टेक ख़बरें »