What is Nagastra 1 : भारतीय सेना को मिला ‘सुसाइड ड्रोन’ ‘नागास्त्र-1’ कैसे करता है काम? जानें

What is Nagastra 1 : जैसे ही इसे अपना टार्गेट मिलता है, यह उसमें क्रैश हो जाता है और टार्गेट को खत्‍म कर देता है।

विज्ञापन
Written by IANS, अपडेटेड: 18 जून 2024 16:25 IST
ख़ास बातें
  • 120 नागास्त्र-1 ड्रोन मिले भारतीय सेना को
  • इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव लिमिटेड ने बनाए हैं ड्रोन
  • टार्गेट से टकराकर उसे खत्‍म कर देता है ड्रोन

इसका अपग्रेडेड वर्जन 2.2 किलो के वारहेड के साथ 30 किलोमीटर तक जा सकता है।

What is Nagastra 1 : अरबपति टेक कारोबारी एलन मस्क ने एक बार कहा था कि भविष्य में वही देश युद्ध जीतेगा, जिसके पास सबसे अच्छे ड्रोन होंगे। शायद अब ऐसा होता हुआ दिख रहा है। भारतीय सेना को ‘सुसाइड ड्रोन' कहे जाने वाले ‘नागास्त्र-1' (Nagastra 1) का पहला बैच मिला है। इस ड्रोन की खासियत है कि ये सैनिकों की जान खतरे में डाले बिना आसानी से दुश्मन के ट्रेनिंग कैंप या लॉन्च पैड पर हमला कर सकता है।
 

कैसे काम करता है ‘नागास्त्र-1'

‘नागास्त्र-1' के काम करने का तरीका आम ड्रोन से काफी अलग होता है। इसकी खास बात यह है कि जैसे ही इसे अपना टार्गेट मिलता है, यह उसमें क्रैश हो जाता है और टार्गेट को खत्‍म कर देता है। इन ड्रोन्स की खासियत है कि इनका टारगेट मिड-फ्लाइट के दौरान भी बदला जा सकता है। इसका फायदा यह है कि अधिक कुशलता के साथ टार्गेट को मिटाया जा सकता है। 
 

2 मीटर की एक्‍युरेसी से करता है वार 

‘नागास्त्र-1' एक जीपीएस इनेबल्‍ड ड्रोन है। ‘कामिकेज मोड' एक्टिव होने पर यह 2 मीटर की सटीकता के साथ किसी भी खतरे को बेअसर कर सकता है।
 

9 किलो वजन, 30km रेंज 

यह एक फिक्स्ड-विंग इलेक्ट्रिक अनमैन्‍ड एरियल वीकल (यूएवी) है, जिसका वजन करीब 9 किलो है और इसकी ऑटोनोमस मोड रेंज करीब 30 किलोमीटर की है। यह एक किलो के वारहेड के साथ 15 किलोमीटर तक जा सकता है। इसका अपग्रेडेड वर्जन 2.2 किलो के वारहेड के साथ 30 किलोमीटर तक जा सकता है।
 

टार्गेट नहीं मिला, तो वापस आ जाता है ड्रोन 

अगर टारगेट नहीं मिलता है या फिर मिशन को खत्‍म कर दिया जाता है तो इस ड्रोन को वापस भी बुलाया जा सकता है। इसमें लैंडिंग के लिए पैराशूट सिस्टम दिया गया है। इस वजह से एक ड्रोन को कई बार इस्‍तेमाल में लाया जा सकता है। 
 

भारतीय कंपनी ने बनाया है ‘नागास्त्र-1'

रिपोर्ट्स के मुताबिक इन ड्रोन्स को भारत की कंपनी इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव लिमिटेड (ईईएल) ने बनाया है, जो कि नागपुर स्थित सोलार इंडस्ट्रीज की सहायक कंपनी है। सेना की ओर से 480 ड्रोन का ऑर्डर ईईएल को दिया गया था, जिसमें से 120 को डिलीवर किया जा चुका है।
 
 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. OnePlus 15R के लॉन्च होते ही 13 हजार रुपये सस्ता मिल रहा ये मिड रेंज स्मार्टफोन
  2. Realme Neo 8 होगा 8000mAh बैटरी, Snapdragon 8 Gen 5 चिप से लैस! जनवरी में लॉन्च के आसार
#ताज़ा ख़बरें
  1. इंश्योरेंस से जुड़े स्कैम को रोकने के लिए TRAI ने लागू किया नया रूल
  2. Poco M8 सीरीज में हो सकती है नए डिजाइन वाली कैमरा यूनिट 
  3. कॉल मिस हुई? Truecaller का नया Voicemail फीचर करेगा काम आसान
  4. Hollywood में बड़ा उलटफेर, 50 साल बाद टूटेगी परंपरा! Oscars अब TV पर नहीं बल्कि...
  5. Apple के फोल्डेबल iPhone का हो सकता है iPad Mini जैसा डिजाइन
  6. BoAt की नई Valour Ring 1 स्मार्ट अंगूठी ट्रैक करेगी फिटनेस और हेल्थ, फुल चार्ज में चलेगी 15 दिन! जानें कीमत
  7. OnePlus 15s जल्द होगा भारत में लॉन्च, BIS पर हुई लिस्टिंग
  8. Xiaomi का नया 10000mAh Power Bank फोन के साथ लैपटॉप को भी करता है चार्ज, इस कीमत में हुआ लॉन्च
  9. Infinix ने 8 मेगापिक्सल कैमरा, 8000mAh बैटरी के साथ Xpad Edge टैबलेट किया लॉन्च, जानें सबकुछ
  10. CES 2026: Samsung पेश करेगी नए AI पावर्ड स्मार्ट होम अप्लायंसेज, इवेंट से पहले दिखाई झलक
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.