अंतरिक्ष वैज्ञानिकों ने सुलझा लिया ब्रह्मांड की सबसे शक्तिशाली जगह क्वासार्स (Quasars) का रहस्य!

शोधकर्ताओं ने इसके लिए एक सुपरकम्प्यूटर का इस्तेमाल किया।

विज्ञापन
गैजेट्स 360 स्टाफ, अपडेटेड: 10 जुलाई 2022 19:43 IST
ख़ास बातें
  • क्वासार्स सूरज के 1 लाख गुना ज्यादा मास वाले सुपर ब्लैक होल्स में बने हैं
  • Quasars ब्रह्मांड में पाई जाने वाली कुछ सबसे शक्तिशाली चीजें हैं
  • ये दूर की गैलेक्सियों के केंद्र में मिलते हैं

सुपरमैसिव ब्लैक होल्स में कुल 200 क्वासार्स का पता लगाया जा चुका है।

अंतरिक्ष में हो रही घटनाओं की स्टडी करने वाले वैज्ञानिकों ने प्रारंभिक ब्रह्मांड से जुड़े एक बड़े रहस्य को सुलझाने में कामयाबी हासिल कर ली है। यह रहस्य है- क्वासार्स (Quasars) का बनना। इन खगोलीय जगहों/ताकतों का सबसे पहले 2003 में पता लगा था। उसके बाद सुपरमैसिव ब्लैक होल्स में 200 क्वासार्स का पता लगाया जा चुका है। इनके बारे में कहा जाता है कि ये ब्रह्मांड के बनने के बाद शुरू के एक अरब सालों में बने थे। इससे पहले वैज्ञानिकों को यह पता नहीं लग पाया था कि शुरुआती ब्रह्मांड में ये क्वासार्स कैसे बने होंगे। अब शोधकर्ताओं की टीम ने पता लगाया है कि ये शुरुआती ब्रह्मांड में मौजूद दुर्लभ गैस के भंडारों में पैदा हुई अस्त-व्यस्त परिस्थितियों के कारण बने होंगे। 

यूनिवर्सिटी ऑफ पोर्ट्समाउथ से डॉक्टर डेनियल व्हेलन ने कहा कि पहले सुपरमैसिव ब्लैक होल्स ठंडे डार्क मैटर में होने वाले स्ट्रक्चर फॉर्मेशन का एक स्वाभाविक परिणाम थे- जिन्हें कॉस्मिक वेब के बच्चे कहा जाता है। डॉक्टर व्हेलन इस टीम को लीड कर रहे थे जिसने क्वासार्स के बनने की स्टडी की है। स्टडी को 6 जुलाई के Nature में प्रकाशित किया गया है। 

शोधकर्ताओं ने इसके लिए एक सुपरकम्प्यूटर का इस्तेमाल किया। वैज्ञानिकों ने पाया कि क्वासार्स हमारे सूरज के 1 लाख गुना ज्यादा मास वाले सुपर ब्लैक होल्स में बने होंगे जहां पर ठंडी गैसों की शक्तिशाली धाराएं स्ट्रॉन्ग कंसेंट्रेशन में पाई गई होंगी। गैसों की ये धाराएं स्पेस के 1 अरब प्रकाश वर्ष के क्षेत्र में केवल दर्जन भर क्षेत्रों में ही पाई जाती हैं। 

Quasars ब्रह्मांड में पाई जाने वाली कुछ सबसे शक्तिशाली और उर्जावान चीजें या जगहें हैं। ये दूर की गैलेक्सियों के केंद्र में मिलते हैं जहां पर अरबों सूर्य के मास जितने सुपरमैसिव ब्लैक होल मौजूद होते हैं। ये ब्लैक होल अपने आसपास के पदार्थों के पास सरकने लगते हैं, जो ब्लैक के पास आने के कारण घर्षण और दबाव से गर्म हो जाते हैं। इस तरह से जो उष्मा और इलेक्ट्रोमेग्नेटिक ऊर्जा निकलती है, वह क्वासार्स के माध्यम से ही इलेक्ट्रोमेग्नेटिक एनर्जी के रूप में बाहर छोड़ी जाती है। 
 
 

लेटेस्ट टेक न्यूज़, स्मार्टफोन रिव्यू और लोकप्रिय मोबाइल पर मिलने वाले एक्सक्लूसिव ऑफर के लिए गैजेट्स 360 एंड्रॉयड ऐप डाउनलोड करें और हमें गूगल समाचार पर फॉलो करें।

द रेजिडेंट बोट । अगर आप मुझे ...और भी

Advertisement
Popular Brands
#ट्रेंडिंग टेक न्यूज़
  1. Oppo K13 Turbo Pro की भारत में शुरू हुई बिक्री, जानें प्राइस, ऑफर्स
  2. Ola Electric ने लॉन्च किया S1 Pro Sport, जानें प्राइस, रेंज
  3. 20 हजार वाले Samsung Galaxy A35 5G, Vivo T4 5G और Moto G96 5G जैसे स्मार्टफोन्स पर जबरदस्त डील
#ताज़ा ख़बरें
  1. 20 हजार वाले Samsung Galaxy A35 5G, Vivo T4 5G और Moto G96 5G जैसे स्मार्टफोन्स पर जबरदस्त डील
  2. Ola Electric ने लॉन्च किया S1 Pro Sport, जानें प्राइस, रेंज
  3. Oppo K13 Turbo Pro की भारत में शुरू हुई बिक्री, जानें प्राइस, ऑफर्स
  4. Google Search में AI मोड भारत में हुआ शुरू, जानें कैसे करें उपयोग
  5. Flipkart Freedom Sale: 7 हजार रुपये सस्ता मिल रहा Google का पिक्सल फोन
  6. Lava Blaze AMOLED 2 5G vs iQOO Z10 Lite 5G vs Moto G45 5G: 15 हजार में कौन है बेस्ट
  7. घर के बाहर कूड़े का ढेर लगा है या गंदे हैं सार्वजिक शौचालय तो इस सरकारी ऐप पर करें रिपोर्ट, जल्द मिलेगा समाधान
  8. प्राइवेट टेलीकॉम कंपनियों को टक्कर देगी BSNL, सरकार से मिलेंगे 47,000 करोड़ रुपये
  9. Honor X7c 5G अगले सप्ताह होगा भारत में लॉन्च, 5,200mAh की बैटरी
  10. 79th Independence Day: सुबह 7:30 बजे शुरू होगा समारोह, मोबाइल, टीवी, लैपटॉप पर ऐसे देखें LIVE
Download Our Apps
Available in Hindi
© Copyright Red Pixels Ventures Limited 2025. All rights reserved.