एस्टरॉयड्स (Asteroid) का पृथ्वी के करीब आना जारी है। अंतरिक्ष में घूमती ये चट्टानी ‘आफतें' कभी भी हमारे ग्रह को मुसीबत में डाल सकती हैं। खास यह है कि एक के बाद एक 5 एस्टरॉयड पृथ्वी के करीब आने वाले हैं। ये सभी हमारे लिए ‘संभावित रूप से खतरनाक' की कैटिगरी में शामिल हैं। एक एस्टरॉयड का साइज तो विशालकाय बिल्डिंग के जितना है, जबकि घर के आकार का एक एस्टरॉयड महज डेढ़ लाख किलोमीटर की दूरी से गुजरेगा। आइए इन एस्टरॉयड्स के बारे में जानते हैं।
लगभग 52 फीट आकार का एस्टरॉयड (2023 EY) एक घर के साइज का है। यह आज हमारे ग्रह के करीब से गुजरने वाला है। नासा जेपीएल के अनुसार, एस्टरॉयड (2023 EY) जब पृथ्वी के करीब से गुजरेगा, तो दोनों के बीच दूरी 1 लाख 49 हजार किलोमीटर रह जाएगी। यही दूरी वैज्ञानिकों की चिंता बढ़ा रही है, क्योंकि अगर कोई एस्टरॉयड पृथ्वी से टकरा जाए, तो बड़ी तबाही मचा सकता है। माना जाताा है कि करोड़ों साल पहले हमारी धरती से डायनासोर का खात्मा भी एक एस्टरॉयड के टकराने से मची तबाही से हुआ था।
एस्टरॉयड (2023 ES1) भी आज यानी 17 मार्च को हमारी पृथ्वी के करीब से गुजरेगा। यह करीब 30 फीट आकार का है यानी एक बस के बराबर। यह एस्टरॉयड जब हमारी पृथ्वी को क्रॉस करेगा, तब दोनों के बीच दूरी 12 लाख 10 हजार किलोमीटर रह जाएगी। नासा के अनुसार, एस्टरॉयड्स को लघु ग्रह भी कहा जाता है। जैसे हमारे सौर मंडल के सभी ग्रह सूर्य का चक्कर लगाते हैं, उसी तरह एस्टरॉयड भी सूर्य की परिक्रमा करते हैं।
आज पृथ्वी के करीब आ रही सबसे बड़ी ‘आफत' है एस्टरॉयड (2018 UQ1)। इसका साइज लगभग 450 फीट बताया जाता है, जोकि एक बिल्डिंग के बराबर है। जब यह हमारी धरती के पास से गुजरेगा तब दोनों के बीच दूरी लगभग 25 लाख किलोमीटर रह जाएगी। पढ़ने में यह बहुत ज्यादा लगे लेकिन अंतरिक्ष के हिसाब से कम है। ऐसे सभी एस्टरॉयड जो पृथ्वी से 80 लाख किलोमीटर कम दूरी से गुजरते हैं, उन्हें नासा संभावित रूप से खतरनाक की कैटिगरी में रखती है।
जैसा कि इसके नाम से पता चलता है एस्टरॉयड (2023 EZ) को इसी साल खोजा गया है। यह कल हमारी पृथ्वी के करीब आएगा। तब दोनों के बीच दूरी 38 लाख 70 हजार किलोमीटर होगी। 64 फीट आकार का यह एस्टरॉयड एक घर के साइज का है। ज्यादातर एस्टरॉयड एक मुख्य एस्टरॉयड बेल्ट में पाए जाते हैं, जो मंगल और बृहस्पति ग्रह के बीच है। इनका साइज 10 मीटर से 530 किलोमीटर तक हो सकता है। अबतक खोजे गए सभी एस्टरॉयड का कुल द्रव्यमान पृथ्वी के चंद्रमा से कम है।
इस एस्टरॉयड का साइज 44 फीट है और लगभग एक घर जितना हो सकता है। यह 19 मार्च को हमारी पृथ्वी के करीब आएगा और लगभग 43 लाख किलोमीटर की दूरी से अपना सफर पूरा करेगा। एस्टरॉयड जब पृथ्वी के करीब आते हैं, तो वैज्ञानिक इनके और पृथ्वी के बीच की दूरी को देखते हैं। इसके लिए सैटेलाइट और रडार की मदद ली जाती है। ज्यादातर एस्टरॉयड मंगल और बृहस्पति ग्रह के बीच मेन एस्टरॉयड बेल्ड में परिक्रमा करते हैं, लेकिन कई एस्टरॉयड की कक्षाएं ऐसी होती हैं, जो पृथ्वी के पास से गुजरती हैं। तस्वीरें, Nasa व Unsplash से।